अभी अभीः IPL मैच फिक्सिंग और सट्टेबाजी पर सनसनीखेज खुलासा, CBI ने किया 3 को गिरफ्तार

IPL 2022: Sensational disclosure on match-fixing and betting, CBI arrests 3
IPL 2022: Sensational disclosure on match-fixing and betting, CBI arrests 3
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इंडियन प्रीमियर लीग में कथित रूप से मैच फिक्सिंग (Match Fixing in IPL) और सट्टेबाजी का मामला सामने आया है. इस मामले में केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआई (CBI) ने 3 लोगों को गिरफ्तार किया है. समाचार एजेंसी पीटीआई ने CBI अधिकारियों के हवाले से बताया है कि एक रैकेट आईपीएल में कथित रूप से मैच फिक्सिंग और सट्टेबाजी में शामिल है. जानकारी के मुताबिक, इस रैकेट ने कथित रूप से पाकिस्तान से मिले इनपुट के आधार पर आईपीएल मैचों के परिणाम को प्रभावित किया. फिलहाल सीबीआई ने पकड़े गए तीन आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है.

जानकारी के मुताबिक, ये मामला मौजूदा सीजन से नहीं, बल्कि 3 साल पहले 2019 सीजन का बताया जा रहा है. रिपोर्ट के मुताबिक, CBI ने मैच फिक्सिंग और सट्टेबाजी को लेकर जो एफआईआर इस मामले में दर्ज की है, वह 2019 सीजन को लेकर है. हालांकि, फिक्सिंग का दायरा कितना बड़ा था या कौन इसमें शामिल था, ये फिलहाल साफ नहीं है. 2019 में टूर्नामेंट का आयोजन भारत में ही हुआ था और तब मुंबई इंडियंस ने फाइनल में चेन्नई सुपर किंग्स को हराकर खिताब जीता था.

समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, अभी तक जिन तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है, उसमें एक दिल्ली और 2 हैदराबाद से पकड़े गए हैं. दिल्ली के रोहिणी से एजेंसी ने दिलीप कुमार, जबकि हैदराबाद से गुर्रम वासु और गुर्रम सतीश को गिरफ्तार किया है. सीबीआई अधिकारियों ने बताया कि ये रैकेट 2013 से सक्रिय है और इसने फर्जी बैंक अकाउंट बनाकर कई लोगों के साथ सट्टेबाजी के नाम पर धोखाधड़ी भी की है.

इन सट्टेबाजों ने फर्जी दस्तावेजों के आधार पर बैंक अकाउंट खोले, जिसमें कथित तौर पर बैंक अधिकारियों की ओर से जरूरी जांच-पड़ताल नहीं की गई. इन अकाउंंट्स में सट्टेबाजी के लिए भारत में आम लोगों से जो पैसा जुटाया जा रहा था, उसे हवाला के जरिए विदेशों में बैठे अपने साथियों को भी भेज रहे थे.

2013 में आया था स्पॉट फिक्सिंग का मामला
विश्व की सबसे बड़ी और सबसे मशहूर टी20 क्रिकेट लीग होने के नाते आईपीएल पर हमेशा सट्टेबाजों और फिक्सरों की नजरें होती हैं. कुछ साल पहले भी सट्टेबाजी और फिक्सिंग के मामले लीग में आए थे. 2013 में राजस्थान रॉयल्स के भारतीय तेज गेंदबाज एस श्रीसंत, अशोक चंदीला और अंकित चव्हाण स्पॉट फिक्सिंग के मामले में फंसे थे और दिल्ली पुलिस ने इन्हें गिरफ्तार किया था इसके बाद तीनों पर बीसीसीआई ने आजीवन बैन लगा दिया था. हालांकि, लंबी अदालती कार्रवाई के बाद तीनों को दोषमुक्त कर दिया गया था.