पैरेंट्स के इन शब्‍दों से टूट जाता है बच्‍चे का दिल, बोलने से पहले 100 बार सोच लें

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ऐसे कई वाक्‍य होते हैं जो आप अचानक से अपने बच्‍चे या किसी और से बात करते हुए बोल देते हैं। कई ऐसे वाक्‍य हैं जो अक्‍सर पैरेंट्स के मुंह से निकल जाते हैं लेकिन इनका गलत असर बच्‍चे पर पड़ सकता है। पैरेंट्स को एक वयस्‍क के साथ-साथ बच्‍चे के तौर पर भी सोचना चाहिए। जो चीजें या बातें आप अपने लिए नहीं सुनना चाहते, उन्‍हें बच्‍चे से बोलने से पहले आपको सोच लेना चाहिए। हम बच्‍चों से जिस तरह से बात करते हैं, उसका उन पर बहुत असर पड़ता है। वो उसी से सीखते हैं और फिर बिहेव करते हैं। ऐसे शब्द और वाक्य जो विनम्र नहीं हैं और भेदभाव करते हैं, उन्हें किसी भी कीमत पर बच्‍चे के सामने नहीं बोले जाने चाहिए। यहां हम आपको कुछ ऐसे वाक्‍यों के बारे में बता रहे हैं, जो पैरेंट्स अक्‍सर अपने बच्‍चों से कह देते हैं लेकिन उन्‍हें नहीं कहने चाहिए।

तुम्‍हें ये समझ नहीं आता
बच्‍चे के लिए एक बार में ही सब कुछ समझ लेना मुश्किल होता है। उस पर वयस्‍कों जैसे काम ना थोपें और ना ही ऐसी उम्‍मीद करें। बड़े होने और सीखने में बच्‍चे को समय लगता है। बच्‍चे को तमीज औरर अच्‍छा व्‍यवहार सिखाने के लिए आपको थोड़ा धीरे चलना होगा।

​तुम्‍हें ये समझ नहीं आता
बच्‍चे के लिए एक बार में ही सब कुछ समझ लेना मुश्किल होता है। उस पर वयस्‍कों जैसे काम ना थोपें और ना ही ऐसी उम्‍मीद करें। बड़े होने और सीखने में बच्‍चे को समय लगता है। बच्‍चे को तमीज और अच्‍छा व्‍यवहार सिखाने के लिए आपको थोड़ा धीरे चलना होगा।

​जल्‍दी करो
कोई भी काम जल्‍दी निपटाने के लिए बच्‍चे पर प्रेशर नहीं डालना चाहिए। हर बच्‍चे को कोई काम करने में अलग समय लगता है। वो काम को करने की अपनी अलग स्‍ट्रैटजी लेकर चलते हैं। जल्‍दबाजी करने की बजाय बच्‍चे के साथ बैठें और जल्‍दी काम करने में उसकी मदद करें।

​सिरदर्द बन गए हो तुम
बच्‍चों पर गुस्‍सा निकालना, किसी भी बात का हल नहीं है। इससे बच्‍चा आपसे दूर जा सकता है। पहले खुद को शांत कर लें और फिर बच्‍चे से बात करें।

​लड़के/लड़कियां ऐसा ही करते हैं
बच्‍चे को लड़के और लड़कियों के फर्क में ना बांधें। ऐसा करना गलत होता है। बच्‍चे को ये महसूस होना चाहिए कि कोई भी काम लिंग आधारित नहीं होता है।

​Hmm जैसे जवाब देना
बच्‍चे इस तरह की आदतों को बहुत जल्‍दी पकड़ लेते हैं। रोज इस तरह से बात करने से कम्‍यूनिकेशन खत्‍म होने लगता है। बच्‍चा भी पूरी बात बोलने की बजाय hmm में ही जवाब देने लगेगा।