पटना: अगर आपके पास कंप्यूटर साइंस से बीटेक की डिग्री है, तो बिहार में कम्प्यूटर शिक्षक बनने के लिए बीएड की डिग्री होना जरूरी नहीं है. टेक्निकल डिग्री वाले अभ्यर्थियों को शिक्षा विभाग ने राहत दी है. पिछले दिनों शिक्षा विभाग द्वारा जारी अधिसूचना में इंजीनियरिंग में ग्रेजुएट का जिक्र नहीं था. इसको लेकर अभ्यर्थियों ने कड़ी आपत्ति दर्ज की थी. इसके बाद नई अधिसूचना जारी की गई, जिसमें कई बदलाव किए गए हैं. शिक्षा विभाग द्वारा जारी की गई नए अधिसूचना में स्पष्ट किया गया है कि अब राज्य के उच्च विद्यालयों में शिक्षक बनने के लिए इंजीनियरिंग में ग्रेजुएट डिग्री भी मान्य होगी. इस डिग्री को रखने वाले अभ्यर्थी 9वीं और 10वीं कक्षा में विज्ञान के शिक्षक बन सकेंगे.
टेक्निकल डिग्री वालों के लिए बड़ी राहत
नई अधिसूचना के अनुसार 11वीं और 12 वीं कक्षा के लिए कंप्यूटर साइंस के शिक्षकों की नियुक्ति में बीएड की योग्यता की अनिवार्यता खत्म कर दी गई है. कक्षा 11वीं और 12वीं तक में कंप्यूटर सांइस विषय के लिए वह अभ्यर्थी आवेदन दे सकते हैं, जिन्होंने कम से कम 80% अंक के साथ डोएक से ग्रेड A और किसी अन्य विषय में पोस्ट ग्रेजुएट की डिग्री हासिल की हो या किसी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय या एआईसीटीई से बीटेक किया हो.
नई अधिसूचना में जारी किए गए निर्देश
कक्षा 9 और 10 में विज्ञान शिक्षक बनने के लिए नई योग्यताएं निर्धारित की गई हैं. इसके अनुसार गणित के लिए स्नातक स्तर पर गणित के साथ भौतिकी इलेक्ट्रॉनिक्स, कंप्यूटर साइंस, रसायन विज्ञान, सांख्यिकी विषय में से कोई दो विषय स्नातक स्तर पर पढ़ा गया हो और इंजीनियरिंग में स्नातक जिसमें गणित की विशेषज्ञता होनी चाहिए. इसी प्रकार विज्ञान विषय के लिए स्नातक स्तर पर जन्तु विज्ञान / वनस्पति विज्ञान / रसायन शास्त्र विषय पढ़ा हो या इंजीनियरिंग में स्नातक हो. माध्यमिक शिक्षक के पद के लिए भाषा से संबंधित विषयों में संबंधित भाषा में स्नातक अनिवार्य है. सभी स्तर के विद्यालय अध्यापक के पद पर नियुक्ति के लिए शैक्षणिक और शैक्षणिक योग्यता में अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अत्यंत पिछड़ा वर्ग, पिछड़ा वर्ग और दिव्यांग अभ्यर्थियों को न्यूनतम अंक में से 5% की छूट मिलेगी.
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