कांस्टेबल मर्डर केस: राइफल लूटकर कांस्टेबल की हत्या के मामले में सुनवाई पूरी, अब 27 को फैसला, ये था पूरा मामला

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मुजफ्फरनगर। शामली के थानाभवन में 12 साल पहले सिपाही की हत्या कर राइफल लूटने के मामले में सुनवाई पूरी हो गई। चर्चित मामले में 27 सितंबर फैसले के लिए नियत की गई है। अपर जिला एवं सत्र न्यायालय संख्या-10 की पीठासीन अधिकारी हेमलता त्यागी ने सुनवाई की है।

थानाभवन थाने की मस्तगढ़ पुलिया पर 12 अक्तूबर 2011 को अज्ञात बदमाशों ने सिपाही कृष्णपाल और अमित कुमार पर जानलेवा हमला कर राइफल लूट ली थी। अस्पताल ले जाते हुए मेरठ निवासी कृष्णपाल की मौत हो गई थी। तत्कालीन एसओ अरुण कुमार त्यागी ने मुकदमा दर्ज कराया। जांच के बाद 16 आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया गया था। पुलिस ने दोनों राइफल बरामद कर ली थी।

प्रकरण की सुनवाई अपर जिला एवं सत्र न्यायालय संख्या-10 में हुई। अदालती बहस की प्रक्रिया पूरी होने के बाद मामले में फैसले की तिथि 27 सितंबर नियत कर दी गई है। सहायक शासकीय अधिवक्ता कुलदीप कुमार ने पुष्टि की है।

इनके खिलाफ दाखिल की थी चार्जशीट
पुलिस ने शामली के कैल शिकारपुर निवासी नीटू कैल, धर्मेंद्र, बागपत के अमित, संजीव, चांदनहेड़ी निवासी मनोज, मोनू कैल, सुमित कैल, ओमकारी, अमित, ऋषिपाल, सुधीर, सत्यपाल, निशा, विकास, यशपाल और संजय के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया था।

अब तक इनकी हो चुकी मौत
ट्रायल के दौरान धर्मेंद्र कैल, बागपत के रमाला के अमित की मौत हो गई। जबकि सुमित कैल पुलिस मुठभेड़ में मारा गया था।

14 पुलिसकर्मियों ने दी गवाही
वारदात में 14 पुलिसकर्मियों ने गवाही दी है। इसके अलावा बचाव पक्ष ने भी तीन गवाह अदालत में पेश किए। पुलिस ने अलग-अलग आरोप पत्र दाखिल किया था। नौ आरोपी धारा 120 बी के बनाए गए थे।