हरियाणा में इन समुदायों पर फोकस, किसान आंदोलन का डैमेज कंट्रोल कर रही BJP

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चंडीगढ़: हरियाणा में भारतीय जनता पार्टी 2024 लोकसभा और साथ ही विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटी हुई है। अब खबर है कि पार्टी ने अपना फोकस राज्य में अहम माने जाने वाले जाट समुदाय की तरफ मोड़ दिया है। साल 2019 में हुए राज्य के चुनाव में भाजपा ने सरकार बनाने में तो सफलता हासिल कर ली थी, लेकिन पार्टी को बहुमत नहीं मिल पाई थी। भाजपा ने जननायक जनता पार्टी के साथ मिलकर सरकार गठित की थी।

न्यूज18 की रिपोर्ट के अनुसार, पार्टी समुदाय को लुभाने के लिए योजना तैयार कर रही है। भाजपा के एक वरिष्ठ नेता ने कहा है कि 2020-21 में किसान आंदोलन के दौरान जाट समुदाय एक वर्ग पार्टी से अलग-थलग हो गया था। बताया गया कि इसका कारण मीडिया की तरफ से उन्हें पार्टी के खिलाफ दी गई ‘गलत जानकारी’ थी। रिपोर्ट के अनुसार, पार्टी के अंदरूनी सूत्रों का कहना है कि समुदाय को लुभाना और जेजेपी पर निर्भर नहीं रहना भाजपा के लिए अहम है। 2019 में भाजपा को 90 सीटों वाली हरियाणा विधानसभा में 40 सीटें हासिल की थी।

भाजपा नेता ने कहा, ‘हमारे सहयोगी एक समुदाय का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं, लेकिन वे हमें उस समुदाय तक हमारी पहुंच से नहीं रोक सकते। हमें वोट बैंक का विस्तार करने के लिए सहयोगियों पर निर्भर रहना पसंद नहीं है। सरकार और पार्टी दो अलग व्यवस्थाएं हैं।’ रिपोर्ट के मुताबिक, पार्टी 30 मई को लोगों तक पहुंच की शुरुआत करेगी। मंत्री और नेता केंद्र सरकार की कल्याणकारी योजनाओं को लेकर लोगों के बीच पहुंचेंगे। पार्टी ने लाभार्थियों की एक सूची तैयार की है और संपर्क बढ़ाने के लिए सम्मेलन आयोजित करेगी।

इसके अलावा हरियाणा में आम आदमी पार्टी सक्रियता को लेकर भी सियासी पारा बढ़ा हुआ है। क्या आप राज्य में भाजपा के लिए चिंता कारण बनेगी या नहीं? इसपर नेता ने कहा, ‘नहीं, हालांकि हम अपना वैश्य/बनिया बनाए रखेंगे और आप की ओर नहीं बढ़ने देंगे।’ भाजपा प्रतिनिधियों का मानना है कि आप का बनिया समुदाय पर प्रभाव हो सकता है और इसपर ध्यान दिया जाना जरूरी है, क्योंकि यह सत्तारूढ़ दल का वोट बैंक है।

भाजपा नेता ने कहा, ‘हमें हमारे मतदाताओं की बात और सुझाव सुनने होंगे और लेक्चर नहीं देने हैं। वे कुछ बातों पर नाराज हो सकते हैं और हमें उनकी बात सुनकर समाधान का वादा करना होगा।’ साथ ही पार्टी उन क्षेत्रों पर भी ध्यान लगा रही है, जहां उसे खास समुदाय से कम वोट मिलेंगे और सुधार की संभावनाएं होंगी। भाजपा के एक वरिष्ठ नेता ने कहा कि अंबाला से करनाल तक पार्टी को ब्राह्मण समुदाय से कुछ ही वोट मिले थे। पार्टी ऐसी सीटों पर काम करेगी।