आत्मनिर्भर बनेगा हिमाचल; मुख्यमंत्री सुक्खू बोले, अभी कर्ज लेना मजबूरी, पर हमेशा नहीं रहेगी

Himachal will become self-reliant; Chief Minister Sukhu said, now it is compulsion to take loan, but it will not remain forever
Himachal will become self-reliant; Chief Minister Sukhu said, now it is compulsion to take loan, but it will not remain forever
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शिमला: मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि हिमाचल आने वाले दो साल में अपने पैरों पर खड़ा होगा, अभी कर्जा लेना मजबूरी है, लेकिन यह मजबूरी हमेशा न रहे, सरकार इस दिशा में काम कर रही है। मुख्यमंत्री शुक्रवार को अपने पहले रोहड़ू दौरे के दौरान ब्लॉक कांग्रेस के कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार ने बिना सोचे समझे लोन लिए, जब उन्होंने सत्ता संभाली, तो अफसरों ने बताया कि आपके पास अगले महीने का खर्चा चलाने और वेतन देने के लिए भी पैसे नहीं हैं, इसलिए अभी लिए जा रहे लोन जरूरत के लिए हैं।

हम अब चार एरिया पर फोकस कर रहे हैं। गरीब तक विकास की रोशनी पहुंचे। हमारे शिक्षण संस्थान मजबूत हों। स्वास्थ्य संस्थान अच्छे हों और लोगों को पीने का साफ पानी मिले। हमारी सरकार दिन रात मेहनत कर रही है। छह जून को होने वाली कैबिनेट में भी जनहित के कई मामले आ रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि खड़ा पत्थर में कोटखाई-हाटकोटी टनल और डोडरा क्वार में सुरंगों के निर्माण के लिए सर्वेक्षण किया जाएगा। इन सुरंगों से क्षेत्र के लोग लाभान्वित होंगे। उत्तराखंड क्षेत्र से क्वार को जोडऩे के प्रयास भी किए जाएंगे। उन्होंने रोहडू में आदर्श स्वास्थ्य संस्थान खोलने की भी घोषणा की। मुख्यमंत्री ने कहा कि बिचौलियों द्वारा सेब के बागवानों का शोषण बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य में दस शीत भंडारण स्टोर स्थापित करने के लिए मौजूदा बजट में 100 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है, जिसके लिए निविदा प्रक्रिया प्रगति पर है। उन्होंने कहा कि सेब उत्पादकों के कम गुणवत्ता वाले सेबों का लाभकारी मूल्य सुनिश्चित करने के उपाय भी किए जा रहे हैं।

सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि वर्तमान कांग्रेस सरकार ने राष्ट्रीय पेंशन योजना में कवर किए जा रहे सरकारी कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना में शामिल करने का वादा पूरा किया है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के पास राष्ट्रीय पेंशन योजना के तहत जमा लगभग 9000 करोड़ रुपए वापस लाने का प्रयास किया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने राज्य में स्थापित ऋण मुक्त जलविद्युत परियोजनाओं में केंद्र सरकार से 30 प्रतिशत हिस्सेदारी की मांग की है। उन्होंने कहा कि विधवाओं और एकल महिलाओं को भी घर बनाने के लिए 1.5 लाख रुपए की आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी। इससे पहले मुख्यमंत्री के एक दिवसीय दौरे के दौरान रोहडू पहुंचने पर स्थानीय निवासियों ने उनका जोरदार स्वागत किया। मुख्य संसदीय सचिव मोहन लाल ब्राक्टा ने कहा कि पिछली सरकार से 75,000 करोड़ रुपए का कर्ज विरासत में मिलने के बावजूद मुख्यमंत्री द्वारा प्रदेश के विकास के लिए सकारात्मक निर्णय लिए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि पिछली भाजपा सरकार के पांच वर्षों में रोहडू का विकास ठप हो गया था और क्षेत्र के निवासियों को वर्तमान सरकार से काफी उम्मीदें हैं। इस अवसर पर स्वास्थ्य मंत्री डा. (कर्नल) धनी राम शांडिल, विधायक यादविंदर गोमा, पूर्व विधायक चिरंजी लाल, मुख्यमंत्री के ओएसडी रितेश कपरेट, हिमाचल प्रदेश सहकारी बैंक के अध्यक्ष देवेंद्र श्याम, जिला परिषद शिमला के उपाध्यक्ष सुरेंद्र रेटका, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता देवेंद्र बुशहैरी, अरुण शर्मा, उपायुक्त शिमला आदित्य नेगी, शमशेर ठाकुर, विजय चौहान, हैप्पी मेहता और अन्य गणमान्य व्यक्ति भी उपस्थित थे।

शिमला में बन रहे छह सीए स्टोर: शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने मुख्यमंत्री द्वारा शासन के लिए अपनाए गए जमीनी स्तर के दृष्टिकोण की सराहना की। उन्होंने कहा कि हिमाचल को पिछले पांच वर्षों में केंद्र से वित्तीय सहायता नहीं मिली है, जिससे राज्य में वित्तीय संकट पैदा हो गया है। उन्होंने शिक्षा विभाग में शिक्षकों के 6000 पदों को भरने की स्वीकृति देने के मुख्यमंत्री के प्रयास की सराहना करते हुए कहा कि इससे शिक्षकों की कमी को पूरा करने में काफी मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश में बन रहे आठ सीए स्टोर में से छह शिमला जिला में बन रहे हैं।