हिमाचल में अब सड़क पर नहीं दिखेंगे बेसहारा पशु, सरकार ने दिये ये आदेश

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ऊना। बेसहारा पशुओं को सहारा देने के लिए मौजूदा गौसदनों की क्षमता बढ़ाई जा रही है। प्रदेश सरकार ने अगस्त 2020 से अप्रैल 2021 तक प्रदेश में संचालित किए जा रहे विभिन्न गौ अभयारण्यों तथा गौसदनों को 5.76 करोड़ रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की है। पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने यह बात थानाखास में आयोजित समीक्षा बैठक के दौरान कही।

उन्होंने कहा कि गौसदनों को संचालित करने के लिए 500 रुपये प्रति पशु प्रति माह की दर से आर्थिक सहायता दी जा रही है। प्रदेश सरकार ने लगभग 18 हजार बेसहारा गौवंश को आश्रय प्रदान किया है। प्रदेश में 198 गौसदन तथा 12 गौ अभयारण्य संचालित किए जा रहे हैं। ऊना में 85.61 लाख रुपये, बिलासपुर जिला में 1184, चंबा 156, हमीरपुर 1548, कांगड़ा 2293, किन्नौर 42, कुल्लू 1461, मंडी 1466, सिरमौर 975, शिमला 1214, सोलन 4686 तथा ऊना में 2382 बेसहारा गौवंश को संरक्षण दिया गया है। बिलासपुर जिला में गौसदनों को 45.23 लाख रुपये, चंबा में 16.79 लाख रुपये, हमीरपुर में 49.90 लाख रुपये, कांगड़ा में 63.73 लाख रुपये, किन्नौर में 76,320 रुपये, कुल्लू में 14.84 लाख रुपये, मंडी में 38.76 लाख रुपये, सिरमौर में 43.58 लाख रुपये, शिमला में 37.86 लाख रुपये और सोलन में 1.79 करोड़ रुपये गौ संचालकों को प्रदान किए गए हैं।

बैठक में जिला परिषद उपाध्यक्ष कृष्ण पाल शर्मा, जिला भाजपा अध्यक्ष मनोहर लाल शर्मा, मंडल अध्यक्ष मास्टर तरसेम लाल, तहसीलदार राहुल शर्मा, बीडीओ यशपाल ङ्क्षसह, पशुपालन विभाग के उपनिदेशक डा. जय ङ्क्षसह सेन, लोक निर्माण विभाग के अधीषण अभियंता शशि धीमान, खुशङ्क्षवदर ङ्क्षसह, एके बंसल, एसडीएससीओ अमित मोदगिल सहित अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।

वीरेंद्र कंवर ने गौ अभयारण्य थाना खास के बेहतर संचालन पर भी चर्चा की। उन्होंने अधिकारियों से यहां पशुओं के लिए दो अतिरिक्त शेड बनाने और सूखा चारा एकत्रित करने के लिए एक अन्य शेड का निर्माण करने के निर्देश दिए। उन्होंने गौ अभयारण्य को जोडऩे वाली सड़क को सुधारने तथा किनारे पर नाली बनाने के निर्देश दिए।