मुजफ्फरनगर। सैकड़ो वर्ष पुराना आर्य समाज का विवाद सड़क पर आ गया है। आपको बता दे कि 8 मई रविवार की सुबह जब बुजुर्ग सन्यासी और अनुयायी साप्ताहिक यज्ञ करने के लिए आर्य समाज मंदिर पहुंचे, तो वहां मंदिर के मुख्य द्वार पर ताला लगा था। इसी बात से गुस्साएं प्रबुद्ध नागरिकों ने महर्षि दयांनद मार्ग वकील रोड पर ही यज्ञ प्रारंभ कर दिया।
नई मंडी के आर्य समाज मंदिर में देश के प्रतिष्ठित सन्यासियों भजनोपदेशक ने अपने उपदेशों भजनों से लाखों लोगों को प्रेरित किया, मगर संस्था के पदाधिकारियों ने कोई शिक्षा ग्रहण नही की, इस दौरान सड़क पर यज्ञ करने की घटना यहीं दर्शाती है। वैश्य, जाट ब्राह्मण आदि समाज के दानवीरों ने ब्रिटिश हुकूमत में नई मंडी इलाके में ये भव्य आर्य समाज भवन बनाया था, जो नई मंड़ी इलाके का मुख्य बाजार है, यहां बड़ी संख्या में कीमती दुकाने आर्य समाज मंदिर की भूमि पर स्थित है, यहां प्रति माह बड़ा किराया संस्था को किराए के रुप में मिलता है। लेकिन बीते दस साल में संस्था में फूट बढ़ती गई। आपको बता दे कि कुछ लोग खुद ही बिगड़ते माहौल में किनारे हो गए और कुछ दरकिनार कर दिए गए, 8 मई की इस घटना से आर्य समाज और महर्षि दयानंद के आदर्श एक बार फिर शर्मिदा हो गए है।