जान की भीख मांगती रहीं बहनें, पर नहीं पसीजा भाई का दिल, मां ने रोते हुए बयां किया बेटे का खौफनाक कारनामा

Sisters kept begging for life, but brother's heart did not sweat, mother cried and told her son's terrible act
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बागपत: उत्तर प्रदेश के बागपत में तिहरे हत्याकांड का आरोपी अमरपाल शराब पीकर घर पहुंचा था। उसने सबके साथ बैठकर खाना खाया। शराब पीने का विरोध करने पर पिता बृजपाल से झगड़ा करने लगा। कहने लगा कि उसे जमीन से बेदखल कर दिया है, बहनों ने नौकरी कर उसकी इज्जत उछाल दी है। किसी तरह से शांत कर सोने के लिए भेज दिया। लेकिन रात में दो बजे उसने हत्याकांड को अंजाम दे डाला।

मां शशिप्रभा के अनुसार हत्यारोपी अमरपाल उर्फ लक्ष्य तोमर नशे की लत लगने के कारण जमीन बेचने लगा था। इसलिए ही पिता बृजपाल ने उसे बेदखल कर दिया और वह तभी से नाराज हो गया था। वह अधिकतर घर से बाहर रहता था और घर में कुछ देर के लिए आने के बाद फिर चला जाता था।

हत्यारोपी अमरपाल की मां शशिप्रभा ने बताया कि रात को अनुराधा अलग कमरे में व दूसरे कमरे में बृजपाल सोफे पर व ज्योति जमीन पर सो गई। जबकि शशिप्रभा सोने के लिए छत पर चली गई। सभी सो गए थे, लेकिन बृजपाल वाले कमरे में चारपाई पर लेटा हुआ अमरपाल जाग रहा था। वह करीब दो बजे उठा और उसने लोहे के नुकीले हथियार से सबसे पहले सोफे पर सो रहे पिता बृजपाल हमला करना शुरू कर दिया। वह पिता का शव खींचकर मकान के बाहर लेकर आया तभी आवाज सुनकर दूसरे कमरे में सोई हुई अनुराधा की आंख खुली और वह अमरपाल की तरफ दौड़ी तो उसे भी बेड पर ही गिराकर फाली से वार करने शुरू कर दिए।

इसके बाद ज्योति की भी आंख खुल गई और वह चिल्लाई तो छत पर सो रही शशिप्रभा भी नीचे आई। लेकिन तब तक आरोपी ने अनुराधा के साथ ही ज्योति को भी मौत के घाट उतार दिया था। शशिप्रभा ने विरोध किया तो उसने मां शशिप्रभा का भी गला दबाकर मारने का प्रयास किया। शशिप्रभा की चीख सुनकर मौके पर आसपास के लोगों को आते देख आरोपी पीछे के गेट से बाइक पर सवार होकर फरार हो गया।

एक माह पहले ही किया था जमीन से बेदखल
शशिप्रभा के अनुसार अमरपाल उर्फ लक्ष्य तोमर नशे में धुत रहता था और खेतीबाड़ी व घर के कामकाज में हाथ नहीं बंटाता था। वह आए दिन अपने पिता, मां व दोनों बहनों के साथ मारपीट व गाली-गलौज करता था। वह शराब के लिए घर का सामान बेचता था और उसने चार बीघा जमीन भी बेच डाली थी। अब केवल चार बीघा ही जमीन बची थी। उसकी हरकतों को देखते हुए एक महीने पहले ही उसको बेदखल कर दिया था। परिजनों ने अमरपाल की हरकतों व नशे की लत के कारण ही उसकी शादी नहीं कराई थी।

एनसीसी कैडेट थी अनुराधा व अमेजन में नौकरी करती थी ज्योति
अनुराधा जनता वैदिक इंटर कॉलेज की एनसीसी कैडेट थी और वीर स्मारक इंटर कॉलेज की 12वीं की छात्रा थी। ज्योति अमेजन कंपनी में नौकरी करती थी, फिलहाल उसने नौकरी छोड़ रखी थी।