
- नई नवेली दुल्हन की सुहागरात के बाद ऐसे हाल में मिली लाश, देखकर कांप गए घरवाले - December 8, 2023
- यूपी में कोतवाली में दारोगा से चली पिस्टल, पासपोर्ट वेरिफिकेशन को आई महिला की उडी खोपडी - December 8, 2023
- वायरल हुआ विधायकजी का प्राइवेट वीडियो, कमरे में लड़की के साथ ऐसे हाल में… - December 8, 2023
नई दिल्ली. जमीन और प्रॉपर्टी से जुड़े विवाद बड़े ही पेचीदे होते हैं. जरा सी गलती होने पर विवाद बढ़ सकता है और प्रॉपर्टी मालिकाना हक को लेकर फंसी रह सकती है. ऐसा अक्सर होता है कि जमीन पिता के नाम पर होती है और बेटे या बेटी उस पर अपना मकान बना लेते हैं. ऐसे हालात में अगर कोई विवाद हो जाए तो मकान पर मालिकाना हक को लेकर किसका दावा मजबूत होगा.
मसलन, पिता की जमीन पर अगर बेटे ने मकान बनवा लिया तो विवाद की स्थिति में उस पर मालिकाना हक किसका होगा. वैसे तो पिता और पुत्र के बीच में इस तरह के विवाद की स्थिति कम ही आती है, लेकिन ऐसा हो जाए तो प्रॉपर्टी उसकी होगी जिसने मकान बनवाया या फिर उसकी जिसकी जमीन है. इसका जवाब हम प्रॉपर्टी एक्सपर्ट से ही समझते हैं.
किसका होगा मालिकाना हक
प्रॉपर्टी मामलों के जानकार प्रदीप मिश्रा का कहना है कि संपत्ति कानून के तहत अगर जमीन किसी के नाम पर है तो कोई भी दूसरा व्यक्ति इस पर निर्माण नहीं कर सकता है. इसका मतलब ये है कि जमीन पर जिसका हक है यानी जिसके नाम पर जमीन है, उसे ही मालिकाना हक मिलता है. इसका मतलब हुआ कि जमीन अगर पिता के नाम पर है तो उस पर मकान बनवाने के बावजूद वह प्रॉपर्टी पिता के ही मालिकाना हक में रहेगी.
तो बेटे के हाथ क्या आएगा
कानून के मुताबिक, अगर मकान बनवाने में पैसे बेटे ने खर्च किए हैं तो वह खर्च किए पैसों पर दावा कर सकता है. पिता के जीवित रहते उस मकान पर कोई और दावा नहीं कर सकता है. चूंकि, जमीन की रजिस्ट्री पिता के नाम पर है तो उस पर बना मकान भी कानूनी तौर पर पिता का ही होगा. बस उस मकान को बनाने में पैसा खर्च हुआ है तो उसे क्लेम किया जा सकता है. वह भी पिता की इच्छा पर निर्भर करेगा कि वह पैसे वापस करे या नहीं.
विवाद से बचने का क्या तरीका
ऐसे किसी भी तरह के विवाद से बचने के लिए जरूरी है कि पिता और बेटे के बीच में एक अनुबंध कर लिया जाए. जमीन जिसके नाम पर है और जो उस पर मकान बनवा रहा है, अगर दोनों के बीच अनुबंध रहेगा तो बाद में कोई विवाद नहीं होगा. दरअसल, अनुबंध के तहत बेटे को इस बात का हक मिल सकता है कि वह जमीन पर कोई मकान बना सके. हालांकि, इससे मालिकाना हक उसे नहीं मिलेगा.