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जयपुर। ऑपरेशन क्लीन स्वीप’ के तहत जयपुर पुलिस कमिश्नरेट की क्राइम ब्रांच पुलिस ने नशे की सप्लाई करने वाली महिला और उसके सहयोगी युवक को गिरफ्तार किया है। इनके कब्जे से 20 लाख रुपए बाजार कीमत की करीब 262 ग्राम स्मैक, एक लाख रुपए नकद और एक बाइक बरामद की है। पकड़ा गया युवक महिला के मकान में किराए से रहता है। रुपए के लालच में महिला के इशारे पर अपनी बाइक से ऑर्डर मिलने पर ग्राहकों को स्मैक की होम डिलीवरी करने जाता था। प्रारंभिक पूछताछ में सामने आया कि नशे खरीदने वाले ज्यादातर युवा हैं, जो महिला को ‘नशे वाली आंटी’ के नाम से जानते हैं। दोनों की गिरफ्तारी शुक्रवार को हुई है।
पति पहले से ही जेल में
डीसीपी (क्राइम) दिगंत आनन्द ने शुक्रवार को खुलासा किया कि गिरफ्तार महिला का नाम तनुजा अरोड़ा (33) है। वह मूल रूप से कोटा में भीमगंज मंडी की रहने वाली है। यहां जयपुर में पिछले कुछ अरसे से सेक्टर 6, प्रताप नगर में रहती है। उसका पति भरत अरोड़ा भी वर्ष 2019 में स्मैक की तस्करी करने पर दौसा पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया था। भरत अरोड़ा अभी कोटा में जेल में बंद है। उसे किसी मुकदमे में कोटा पुलिस ने प्रोडक्शन वारंट पर दौसा से गिरफ्तार किया था।
तनुजा से पूछताछ में सामने आया कि वह खुद अकलेरा जिला झालावाड़ से प्राइवेट बस और टैक्सी से स्मैक जयपुर लेकर आती है। 3 हजार रुपए प्रतिग्राम के भाव की स्मैक को यहां 4 हजार से 7 हजार रुपए के भाव से ग्राहकों को बेचकर मोटा मुनाफा कमाती है। तनुजा ने बताया कि वह जयपुर शहर में हर महीने करीब 1 से 2 किलो स्मैक की सप्लाई करती है। उसके कब्जे से एक लाख रुपए नकद व 210 ग्राम स्मैक बरामद हुई है।
एडिशनल डीसीपी (क्राइम) सुलेश चौधरी ने बताया कि कमिश्नरेट की क्राइम ब्रांच टीम (CST) को सूचना मिली थी कि एक युवक सांगानेर व प्रताप नगर इलाके में नशे की सप्लाई करता है। यह नशा पुड़ियों में भरकर बेचा जा रहा है। तब प्रताप नगर पुलिस ने मोहित शर्मा (23) को CST की सूचना पर धरदबोचा। पूछताछ में उसने बताया कि वह इटावा, कोटा का रहने वाला है।
मोहित की तनुजा अरोड़ा से मुलाकात जयपुर में ही हुई थी। तनुजा भी कोटा की रहने वाली है, इसलिए उसने आसानी से मोहित को कमरा किराए पर दे दिया। रुपए की जरूरत होने पर वह तनुजा के कहने पर स्मैक की बाइक से डिलीवरी करने लगा। मोहित की गिरफ्तारी होते ही पुलिस ने तनुजा पर भी शिकंजा कस दिया। ACP चिरंजीलाल मीणा के साथ पुलिस इंस्पेक्टर खलील अहमद व प्रताप नगर थानाप्रभारी बलबीर कस्वां के नेतृत्व में यह कार्रवाई की गई। किस तरह से पूरा गिरोह चलता था, गिरोह में और कितने लोग शामिल हैं, खरीदार कैसे इनसे संपर्क करते थे, फिलहाल आरोपियों से कई अहम सवालों को लेकर तफ्तीश जारी है।