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10 Crore Indians will affluent by 2027: भारतीय दुनिया की पांचवी बड़ी इकोनॉमी बन चुका है. टॉप 3 में जल्द शामिल हो सकता है. ऐसी अच्छी खबरों से इतर ये बात अपनी जगह बनी हुई है कि आज भी देश की बड़ी आबादी गरीबी रेखा के नीचे है. इसी वजह से ऐसी बातें कही जाती हैं कि 140 करोड़ की आबादी में करीब 10% लोग भी इनकम टैक्स (Income Tax) नही देते हैं. इस बीच बीते शुक्रवार को आई गोल्डमैन सैक्स की रिपोर्ट में अनुमान लगाया गया है कि देश में संपन्न लोगों यानी रईसों की संख्या 2027 तक यानी अगले चार सालों में 10 करोड़ के पार हो सकती है.
इस उपलब्धि के मायने समझिए
देश में अगर 10 करोड़ से ज्यादा लोग संपन्न हो जाएंगे तो इससे देश में लोगों को रोजगार मिलेगा. ये 10 करोड़ भारतीय, जो पहले से ही भारत में उपभोक्ताओं की मांग पूरी करने और लोगों को रोजगार मुहैया कराने के साथ उनके जीवन स्तर में बदलाव के लिए जिम्मेदार हैं, वो विलासिता के सामान से लेकर शेयर बाजार तक, ऑटोमोबाइल वर्ल्ड की बात करें तो एसयूवी (SUV) से लेकर गोल्ड और डायमंड ज्यूलरी तक हर व्यावसाय पर बड़ा असर डालेंगे.
नए स्टार्टअप हों या पुराने वेंचर अगर वो ग्रोथ करेंगे तो सीधे-सीधए देशभर में लोगों की आमदनी बढ़ेगी. नौकरी यानी रोजगार के अवसर बढ़ेंगे. वहीं आयकर दाताओं की संख्या भी बढेगी. इसका असर कर्मचारी राज्य बीमा निगम यानी ईएसआईसी (ESIC) और प्रोविडेंट फंड (EPFO) का लाभ लेने वाले कामगारों को भी मिलेगा. इन संस्थानों के दायरे में आने वालों की संख्या बढ़ेगी. दरअसल आज भी देश में नौकरी कर रहे लोगों का आंकड़ा जुटाने के लिए इन्हीं विभागों का डाटा लिया जाता है. ये उपलब्धि इसलिए भी खास होगी क्योंकि दुनिया में बस 14 ही देश ऐसे हैं जिनकी आबादी 10 करोड़ से ज्यादा है.