बिहार को मिले स्पेशल पैकेज, प्री-बजट मीटिंग में सम्राट चौधरी ने निर्मला सीतारमण से कई मांगे की

Bihar should get a special package, Samrat Chaudhary made several demands from Nirmala Sitharaman in the pre-budget meeting
Bihar should get a special package, Samrat Chaudhary made several demands from Nirmala Sitharaman in the pre-budget meeting
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पटना: बिहार ने विकास दर बरकरार रखने के लिए केंद्र सरकार से विशेष आर्थिक सहायता तथा बिजली क्षेत्र में वन नेशन वन टैरिफ लागू करने की मांग की। शनिवार को नई दिल्ली में बिहार के वित्त मंत्री सम्राट चौधरी ने केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के साथ राज्यों एवं केंद्रशासित प्रदेशों के प्री-बजट बैठक में यह मांग की। सम्राट चौधरी ने बताया कि 2022-23 में बिहार की विकास दर देश में 10.64 प्रतिशत थी। वित्तीय अनुशासन, बेहतरीन प्रबंधन एवं कम संसाधन होते हुए भी यह दर हासिल किया है। इसे कायम रखने के लिए अतिरिक्त आर्थिक सहायता की जरूरत है।

केंद्रीय प्रक्षेत्र से बिजली लेने पर बिहार को 4.81 रुपये प्रति यूनिट की दर से भुगतान करना पड़ता है। निजी क्षेत्र की बिजली दर 3.60 रुपये प्रति यूनिट है। इसलिए देश में वन नेशन वन टैरिफ की लागू होना चाहिए। बिहार ने राजकोषीय उत्तरदायित्व और बजट प्रबंधन (एफआरबीएम) के तहत वर्तमान ऋण लेने की सीमा को 3 प्रतिशत से अधिक करने की मांग की। सम्राट चौधरी ने कहा कि केंद्रीय बजट में 2023-24 में एक लाख करोड़ रुपये के पूंजीगत व्यय के लिए राज्यों को विशेष सहायता के आवंटन पर विचार किया गया था। स्वास्थ्य, शिक्षा, सिंचाई, जलापूर्ति, बिजली, सड़क, पुल आदि के लिए ब्याज मुक्त ऋण बजट 2024-25 में भी जारी रहनी चाहिए। इसे अंतरिम बजट में घटा 55,000 करोड़ कर दिया गया है। इसे पिछले बजट के बराबर एक लाख करोड़ रखा जाय।

शिक्षकों के वेतन मद में केंद्र दे 60 फीसदी राशि

सर्व शिक्षा अभियान के तहत वित्तीय वर्ष 2024-25 में नियोजित शिक्षकों के वेतन पर राज्य सरकार को 17,686 करोड़ रुपये खर्च करना पड़ेगा। लेकिन केंद्र ने महज 3063 करोड़ की मंजूरी दी है। राज्य सरकार ने इसके लिए 60:40 के अनुपात में राशि देने की मांग की। हरेक पंचायत एवं नगर पंचायत में बनने वाले स्पोर्ट्स क्लब पर 410 करोड़ रुपये खर्च होंगे। इसके लिए बजट में राशि का प्रावधान किया जाए।

मेन पॉइंट्स

● राज्य सरकार ने 9 एयरपोर्ट सहरसा, फारबिसगंज, मुंगेर, बेगूसराय, भागलपुर, मुजफ्फरपुर, रक्सौल एवं गोपालगंज में विकसित करने का निर्णय लिया है।

● इसके लिए चालू वित्तीय वर्ष के बजट में ही राशि उपलब्ध कराने की भी मांग की गयी।

● पटना-पूर्णिया, बक्सर-भागलपुर एक्सप्रेस वे, आमस-दरभंगा फोर लेन के लिए राशि देने की मांग की।

● राज्य सरकार ने कहा बिहार में तकरीबन 20,418 किमी ग्रामीण सड़क है।

● 31 मार्च 2015 से पहले इसका रखरखाव केंद्र द्वारा किया जाता था। लेकिन पांच साल के बाद से इसका रखरखाव राज्य सरकार को करना पड़ रहा है। बिहार ने केंद्र से आग्रह किया कि रखरखाव की राशि 60: 40 के अनुपात में दें।