चोपता घूमने साथ निकलीं थीं नोएडा के फ्लैट में रहने वालीं 4 सहेलियां, पर किस्मत देखिए…

Four friends living in a Noida flat had gone together to visit Chopta, but look at their fate...
Four friends living in a Noida flat had gone together to visit Chopta, but look at their fate...
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नई दिल्ली: उत्तराखंड के रुद्रप्रयाग जिले में हुए सड़क हादसे में मरने वाले पर्यटकों में 4 सहेलियां भी शामिल थी, जो एक ही साथ रहती थी. नोएडा में अलग-अलग कंपनियों में काम करने वाली 6 दोस्तों ने छुट्टियां लेकर टिहरी गढ़वाल की पहाड़ियों में चोपता और तुंगनाथ मंदिर जाने का प्लान बनाया था. काम से ब्रेक लेकर ये सभी शनिवार को टेम्पो ट्रैवलर से यहां के लिए रवाना हुईं थी. लेकिन इनकी किस्मत को कुछ ओर ही मंजूर था और ये सभी हादसे का शिकार हो गई. नोएडा सेक्टर- 51 में एक फ्लैट ही में रहने वाली इन दोस्तों की उम्र 20 या 30 के आसपास थी. हादसे में चार की मौत मौके पर ही हो गई थी. जबकि दो अन्य गंभीर रूप से घायल हो गई थी. जिन्हें तुरंत एम्स में भर्ती किया गया था.

अंग्रेजी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक मोहिनी पांडे (27), स्मृति शर्मा (28), निकिता भट्ट (26) और अंजलि श्रीवास्तव (27) की मौत घटना स्थल पर ही हो गई थी. जबकि वंदना शर्मा (30) और शुभम सिंह (27) गंभीर रूप से घायल हो गई.

हादसे में 15 लोगों को हुई मौत
रुद्रप्रयाग जिला मुख्यालय से करीब चार किलोमीटर पहले रैतोली गांव के पास शनिवार को एक टेम्पो-ट्रैवलर 150-200 मीटर गहरी खाई में गिर गया था. उसमें सवार 10 व्यक्तियों की मौके पर ही मौत हो गई थी. जबकि अन्य पांच लोगों ने अस्पताल ले जाते समय रास्ते में अथवा अस्पताल में उपचार के दौरान दम तोड़ दिया था. दुर्घटनाग्रस्त बस में दिल्ली-एनसीआर (नोएडा) के ही तीर्थयात्री सवार थे. टेम्पो ट्रैवलर में कुल 23 पर्यटक सवार थे.

वाहन में क्षमता से अधिक सवारियां बैठी थीं
रुद्रप्रयाग में गोपीनाथ टैक्सी-सूमो वाहन संगठन के अध्यक्ष जगमोहन रावत ने कहा कि बाहरी राज्यों से आने वाले वाहन चालकों का पहाड़ों में गाड़ी चलाने का अनुभव न होने के कारण हादसे हो जाते हैं. उन्होंने कहा कि दुर्घटनाग्रस्त हुआ टेम्पो-ट्रैवलर दिल्ली—एनसीआर से बुक किया गया था और पर्यटक चोपता घूमने जा रहे थे. उन्होंने परिवहन तंत्र की व्यवस्थाओं पर सवाल उठाते हुए कहा कि हादसे के समय वाहन में 20 की निर्धारित क्षमता से अधिक 26 सवारियां बैठी थीं और प्रदेश की सीमा के अंदर आधा दर्जन जांच चौकी से गुजरने के बाद यह वाहन दुर्घटनाग्रस्त हुआ.