मुजफ्फरनगर मे बारिश ने ढाया कहर, भरभराकर गिरे कई मकान, कई लोग घायल

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मुजफ्फरनगर। बारिश के चलते शहर से लेकर देहात तक कच्चे मकानों की छत टूटने और दीवार गिरने की कई घटनाएं हुईं। इनमें कई लोग घायल हो गए। शहर में एकता विहार कालोनी में मकान की छत गिरने से दंपती और उनके तीन बच्चे गंभीर घायल हुए। बुढ़ाना के मंदवाड़ा गांव में चार मकान धराशायी हुए, जिनमें दो महिलाओं समेत आठ लोग घायल हो गए। मोरना क्षेत्र में भी दो मकान ढह जाने से कई घायल हुए।

शहर कोतवाली क्षेत्र के एकता विहार निवासी रामप्रसाद मजदूरी करता है। बृहस्पतिवार रात वह परिवार के साथ सो रहा था। बरसात के चलते देर अचानक मकान की कच्ची छत गिर गई। जिसमें राम प्रसाद, उसकी पत्नी किरन, बेटी अंबिका, मुस्कान और आठ साल का बेटा अंश घायल हो गए। शोर सुन कर मोहल्लों के लोगों ने उन्हें बाहर निकाला तथा पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने घायलों को जिला अस्पताल में भर्ती कराया। तीनों बच्चों की हालत गंभीर बनी है। एडीएम वित्त आलोक कुमार ने बताया कि बरसात के चलते मकान गिरने की घटनाओं में पीड़ितों को हर संभव मदद और आर्थिक सहायता दी जाएगी।

उधर, काली नदी में बरसात का पानी अधिक आने के कारण नदी भी उफान पर आ गई है। न्याजूपुरा के किसानों के खेतों में पानी भर गया है। शहर में मोक्षधाम के पास एक बैंक्वेट हाल की दीवार भी भरभरा कर गिर गई है।

बारिश के बंद होते ही मंदवाड़ा गांव में तीन भाईयों सहित चार ग्रामीणों के मकान भरभराकर गिर गए। दो महिलाओं सहित आठ ग्रामीण मलबे में दबने से घायल हो गए। मंदवाड़ा गांव के तीन सगे भाई अकरम, इसरार व सलीम के मकान गिर गए। मकान के मलबे में दबने से अकरम (40), उसकी पत्नी रेशमा (35), बेटा जुनैद (8), बेटी इकरा (6), बेटा रिहान (5), बेटी आयशा (4) व बेटा सलीम (1) घायल हो गए। घटना से परिवार में कोहराम मच गया। पुलिस ने ग्रामीणों के सहयोग से सभी घायलों को बाहर निकलवाकर सीएचसी पर भर्ती करवाया। इसी गांव में ग्रामीण मुंतजिर का मकान भी भरभराकर गिर गया। इस घटना में मुंतजिर की पत्नी भोली घायल हो गई। घायल महिला भोली को भी सीएचसी पर भर्ती करवाया गया। तहसीलदार जयेंद्र सिंह ने भी घटना स्थल का निरीक्षण किया। ग्रामीणों ने पीड़ित परिवार को मुआवजा दिलवाने की मांग की है।

मोरना। तेवड़ा में शुक्रवार सुबह बारिश के चलते अचानक से कच्ची छत टूट कर गिर गई जिसमें सरताज व उनकी पत्नी दब गई। ग्रामीणों की मदद से दोनों को बाहर निकाला और उपचार के लिए भेज दिया। दंपती के बच्चे हादसे के समय दूसरे कमरे थे।