- बाप रे बाप! अभी और तपेगी धरती… दिल्ली से UP तक लू मचाएगी कहर, IMD ने दी चेतावनी - May 3, 2024
- हरियाणा में ठगों के जाल में फंस रहे लोग, पांच लाख के लालच में सब्जी विक्रेता ने गंवाए 58 हजार - May 3, 2024
- हरियाणा में बेटी ने पिता पर लगाए लोहे की बेल से बांधने और पीटने के आरोप, पुलिस ने छुड़वाया - May 3, 2024
पटना। बिहार के शिक्षा मंत्री के द्वारा रामचरितमानस को लेकर दिए विवादित बयान को लेकर उनपर चौतरफा हमला हो रहा है। चंद्रशेखर पर बीजेपी तो हमलावर है ही, जेडीयू ने भी उनके खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। गुरुवार को नीतीश कुमार की कैबिनेट में मंत्री अशोक चौधरी ने बयान वापस लेने की नसीहत दी। वहीं, आज जेडीयू नेताओं ने पटना के हनुमान मंदिर में रामचरितमानस का पाठ किया। अशोक चौधरी ने तो यहां तक कहा कि रामचरितमानस की चौपाई को गलत तरीके से रखा गया। उन्होंने इस बयान को धार्मिक भावना को आहत और भ्रमित करने वाला बताया है।
वहीं, बीजेपी सांसद सुशील मोदी ने कहा कि यदि ऐसा ही बयान किसी दूसरे धर्मग्रंथ के लिए दिया गया होता, तो नीतीश कुमार क्या करते? सुशील मोदी ने कहा कि जिस ग्रंथ की सराहना फादर कामिल बुल्के जैसे कैथोलिक क्रिश्चियन ने की है। उसकी निंदा कर प्रो. चंद्रशेखर ने साबित कर दिया कि वह शिक्षा मंत्री बनने के योग्य नहीं हैं। इससे यह भी साबित होता है कि उन्हें इस पद पर बैठाने वाले नीतीश कुमार को सही व्यक्तियों की परख नहीं है। ऐसे शिक्षा मंत्री को तत्काल बर्खास्त किया जाना चाहिए।
बयान पर अडिग हैं शिक्षा मंत्री
शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने कहा कि वह अपने बयान को लेकर पीछे हटने वाले नहीं है। जो कहा है, सत्य कहा है और अंतिम सांस तक सच्चाई के साथ रहेंगे। यह पूछे जाने पर कि आपने शिक्षा मंत्री के तौर पर बड़ा रिस्क लिया है, इस पर प्रोफेसर चंद्रशेखर ने कहा की सच बोलना रिस्क है तो इसे रिस्क ही माना जाए। शिक्षा मंत्री ने कहा कि पार्टी के कहने पर भी बयान वापस नहीं लेंगे। हालांकि, पार्टी ऐसा नहीं कहेगी। इसके लिए संघर्ष करेंगे और अपने विरोधियों को मुंहतोड़ जवाब देंगे।
आरजेडी में भी दो फाड़
रामचरित मानस को लेकर राजद के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष शिवानंद तिवारी और प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद शुक्रवार को पार्टी के प्रदेश दफ्तर में ही आपस में उलझ गए। शिवानंद तिवारी ने शिक्षा मंत्री डॉ. चन्द्रशेखर का समर्थन करने के जगदानंद के बयान का विरोध किया। कहा कि यह पार्टी का फैसला नहीं। रामचरित मानस को लेकर पार्टी ने कोई स्टैंड नहीं तय किया है। बगैर लालू प्रसाद और तेजस्वी यादव के निर्णय के किसी मुद्दे पर पार्टी कैसे स्टैंड ले सकती है? गौर हो कि पहले जगदानंद और फिर शिवानंद ने आमने-सामने ही परस्पर विरोधी बातें मीडिया से कहीं। प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद ने कहा कि पूरी पार्टी प्रो. चंद्रशेखर के साथ मजबूती से खड़ी है और कमंडल वालों को मुंहतोड़ जवाब दिया जाएगा।