हरियाणा में मुस्लिम युवक ने पहली पत्नी के रहते किया दूसरा निकाह, सुरक्षा के लिए लगाई गुहार; हाई कोर्ट ने…

In Haryana, a Muslim youth did a second marriage with his first wife, pleaded for security; The High Court...
In Haryana, a Muslim youth did a second marriage with his first wife, pleaded for security; The High Court...
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चंडीगढ़। हरियाणा में एक मुस्लिम युवक ने सुरक्षा के लिए हरियाणा और पंजाब हाईकोर्ट का रुख किया था। ये मामला पहली पत्नी के रहते दूसरे निकाह का था। शादीशुदा मुस्लिम युवक ने पहली पत्नी के होते हुए दूसरा निकाह (विवाह) कर लिया और सुरक्षा के लिए हाई कोर्ट पहुंच गया। मुस्लिम युवक की सुरक्षा की गुहार संबंधी याचिका को पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने सिरे से खारिज करते हुए किसी भी राहत से इनकार कर दिया है।

पहली पत्नी के रहते किया दूसरा निकाह
याचिका दाखिल करते हुए मेवात (नूंह) निवासी 22 वर्षीय युवक ने हाई कोर्ट को बताया कि वह पहले से शादीशुदा है और उसने अब दूसरा निकाह किया है। इस निकाह से उसके व उसकी पहली पत्नी के परिवार वाले खुश नहीं हैं और याचिकाकर्ताओं के जीवन को खतरा है। याची ने कहा कि वह मुस्लिम है और उसे चार अलग-अलग महिलाओं से विवाह करने का अधिकार है। उसने कोर्ट में दलील दी कि वो अपनी मान्यताओं के अनुसार दूसरा निकाह कर सकता है।

हरियाणा सरकार ने रखा अपना पक्ष
हाई कोर्ट ने याचिकाकर्ता को इस बारे में कोई कानून, हाई कोर्ट या सुप्रीम कोर्ट की जजमेंट या कोई अन्य प्रमाण पेश करने को कहा, जिसमें याची नाकाम रहा। हरियाणा सरकार ने कोर्ट में कहा कि बिना पहली पत्नी की मंजूरी के याचिकाकर्ता को निकाह करने से जुड़ा ऐसा कोई अधिकार नहीं है। सरकार ने साफ कहा कि शौहर अपनी पहली पत्नी की मंजूरी के बिना दूसरा निकाह नहीं कर सकता।

सुरक्षा की मांग वाली याचिका हुई खारिज
हाई कोर्ट ने सभी पक्षों को सुनने के बाद कहा कि याचिकाकर्ता दंपत्ति उन पर किसी भी वास्तविक खतरे की जानकारी देने में नाकाम रहे हैं। इस प्रकार की याचिकाएं बिना किसी खतरे के केवल रिश्तों पर मोहर लगवाने के लिए दाखिल की जाती हैं। ऐसे में कोर्ट ने सुरक्षा की मांग वाली इस याचिका को खारिज कर दिया है।