बडी खुशखबरीः महायोजना से बदल जायेगा मुजफ्फरनगर, बडे-बडे शहरों को देने लगेगा टक्कर

Big good news: Muzaffarnagar will change with the master plan, will give competition to big cities
Big good news: Muzaffarnagar will change with the master plan, will give competition to big cities
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मुजफ्फरनगर। नगर एवं ग्राम नियोजन विभाग और मुजफ्फरनगर विकास प्राधिकरण ने 10274.1 हेक्टेयर जमीन पर जनपद के विकास के लिए महायोजना प्रस्तावित कर दी है। जीआईसी आधारित अमृत योजना के अंतर्गत शहरी नियोजन एवं विकास अधिनियम 1973 के प्रावधानों के अधीन 88 गांव और शहर पालिका के 300.86 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में संगठित तरीके से विकास की दिशा में कदम बढ़ाए गए हैं। सबसे ज्यादा जमीन आवासीय क्षेत्र के लिए 39.7 प्रतिशत, सार्वजनिक एवं अर्द्ध सार्वजनिक क्षेत्र के लिए 12.3 प्रतिशत और औद्योगिक क्षेत्र के लिए 12 फीसदी अनुमानित की गई है।

वर्तमान आवासीय निर्माण पैटर्न के विश्लेषण के बाद महायोजना में आवासीय निर्माण को दो चरणों में बांटा गया है। पहले चार साल में शहर की उत्तर दिशा के देवबंद मार्ग, मेरठ-रुड़की मार्ग, बाईपास क्षेत्र को विकसित किया जाएगा। छह साल के दूसरे चरण में आवासीय विकास के लिए शामली रोड को चयनित किया गया है। प्रस्ताव में शामली रोड पर होने वाले विकास में अधिक समय लगने की संभावना भी जताई गई है।

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2031 के लिए ऐसे प्रस्तावित किया भू उपयोग
वर्गीकरण हेक्टेयर प्रतिशत
आवासीय 4079.5 39.7
व्यावसायिक/वाणिज्यिक 411 4.0
औद्योगिक 1232.9 12
सार्वजनिक/अर्द्ध सार्वजनिक 123.7 12.3
पार्क एवं खुले मैदान 143.9 1.0
यातायात एवं परिवहन 143.4 14
अन्य 205.5 2.0
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इस तरह बढ़ी शहर की जनसंख्या
साल आबादी
1961 86,622
1971 1,14,783
1981 1,71,816
1991 2,47,624
2001 3,31,668
2011 3,92,768
2021 4,94,743
2031 6,45,088 (अनुमानित)
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विस्तारित क्षेत्र के लिए बनाए चार जोन
जोन क्षेत्र
प्रथम शुक्रताल की ओर
द्वितीय रुड़की रोड, सहारनपुर रोड
तृतीय एवं चतुर्थ एनएच 709एडी पर दक्षिण दिशा
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काली नदी के पास बनेगा हरित क्षेत्र
महायोजना में शामली रोड स्थित काली नदी के पास हरित क्षेत्र बनाने का प्रस्ताव रखा गया है। वन विभाग के सहयोग से यहां पर वृहद स्तर पर पौधरोपण किया जाएगा।
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परिवहन सुधार जरूरी, साइकिल को किया जाएं प्रोत्साहित
महायोजना में प्रस्ताव रखा गया है कि ऑटोमोबाइल पर अनुचित निर्भरता से बचने के लिए साइकिल को प्रोत्साहित किया जाएं। आवाजाही के लिए पर्याप्त योजना बनाकर परिवहन के व्यक्तिगत साधन के रूप में साइकिल को प्रोत्साहित किए जाने की आवश्यकता है। महायोजना में शहर में परिवहन सुधारने पर माथापच्ची की गई। महायोजना 2031 में 1233 हेक्टेयर भूमि यातायात एवं परिवहन के लिए प्रस्तावित कर सुधार की दिशा में कदम बढ़ाया गया है।
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शामली रोड पर वाणिज्य और जौली के पास औद्योगिक विस्तार
शामली रोड पर वाणिज्य और व्यवसायिक गतिविधियां प्रस्तावित की गई है। औद्योगिक क्षेत्र जानसठ एवं जौली मार्ग के बीच प्रस्तावित किया गया है। पहले से ही इस मार्ग पर उद्योग स्थापित हैं। इसी क्षेत्र पर और अधिक विस्तार की जरूरत बताई गई है। दूसरा औद्योगिक क्षेत्र शामली मार्ग पर प्रस्तावित है। बुढ़ाना रोड को औद्योगिक दृष्टि से महत्वपूर्ण माना गया है, यहां पर पहले से ही कई उद्यम चल रहे हैं।
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जौली और चरथावल मार्ग पर चलेंगी डेयरी
शहर को जाम और प्रदूषण से मुक्ति दिलाने के लिए डेयरियों के लिए प्रस्ताव दिए गए हैं। डेयरी उद्योग जौली और चरथावल मार्ग पर प्रस्तावित किया गया है। शहर को जाम और प्रदूषण से मुक्ति दिलाने के लिए यह कदम उठाया गया है।
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सीएनजी फिलिंग स्टेशन बनें तो बनेगी बात
महायोजना में शामली रोड, बड़ौत रोड, रुड़की रोड और बिजनौर मार्ग पर सीएनजी फिलिंग स्टेशन का प्रस्ताव भी है। इसके अलावा रेट्रोफिटिंग स्टेशन की आवश्यकता जताई गई।
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इन क्षेत्रों में शिक्षा और स्वास्थ्य का विस्तार
महायोजना में सहारनपुर रोड और चरथावल रोड के मध्य शहर के उत्तर पश्चिम में शिक्षा की सुविधा प्रस्तावित रखीं गई है, जबकि बुढ़ाना मार्ग के किनारे पर स्वास्थ्य सेवा प्रस्तावित की गई है।
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भूमि संपत्ति (लैंड बैंक) के लिए सुझाव
– सेटेलाइट और जीआईएस प्रौद्योगिकी के आधार पर मानचित्रण से साफ हो गया कि राजस्व गांव में भरपूर अतिरिक्त भूमि उपलब्ध।
– शहर में अनाधिकृत तरीके जमीन का व्यवसायिक उपयोग किया जा रहा, दोगुना कंपाउंडिंग शुल्क लेने का सुझाव।
– शहरी क्षेत्र में वाहन सार्वजनिक भूमि पर खड़े किए जा रहे हैं। अनाधिकृत पार्किंग पर मासिक किराया वसूलने का सुझाव।
– भूमि के वास्तविक उपयोग एवं निर्मित संपत्ति के आधार पर परिवर्तन शुल्क एवं प्रभाव शुल्क लगाया जाना चाहिए।
– प्राधिकरण एक मुक्त भूमि क्षेत्र विकसित करने पर भी विचार कर सकता है। अतिरिक्त शुल्क से प्रदूषण रहित विभिन्न गतिविधियों की अनुमति दी जा सकती है।
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शहर की यह प्रमुख समस्याएं सामने आई
– मिश्रित एवं गैर अनुरूप भू-उपयोग से ध्वनि, वायु एवं जल प्रदूषण बढ़ रहा है। इसी से सड़कों पर भीड़ बढ़ रही है।
– पार्किंग नहीं, सड़कों पर माल लोडिंग, पैदल चलने वालों के लिए सुविधा नहीं और बेहतर परिवहन सुविधा का अभाव।
– आसपास के जिलों की तुलना में मुजफ्फरनगर पिछड़ रहा है, इसकी वजह यह है कि निकट के राज्यों में निवेश के लिए उचित प्रोत्साहन नहीं है।
– शहरी मूलभूत सुविधाओं की निम्न स्तरीय गुणवत्ता है।