हरियाणा में पंजाब और यूपी से आई बहुएं अब संभालेगी गांवों की चौधर

In Haryana, daughters-in-law from Punjab and UP will now manage the villages
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नारनौंद : प्रदेश में गांव की छोटी सरकार चुन ली गई है। अबकी बार हुए चुनाव में पंजाब व यूपी से आई हुई अनुसूचित जाति की बहुओं को प्रदेश के ऐसे दो बड़े गांव मिर्चपुर व खांडा खेड़ी की चौधर मिली है। यह गांव अनुसूचित जाति की महिला के लिए आरक्षित किए गए थे। इन दोनों गांव के सामान्य वर्ग के दोनों युवाओं ने अनुसूचित जाति की महिलाओं से शादी की थी और गांव की चौधर अपने घर में ले आए।

प्रदेश का राजनीति के लिए विख्यात गांव खांडा खेड़ी काफी मशहूर माना जाता है। इस गांव से पूर्व वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु, पूर्व मंत्री जसवंत सिंह, अमर सिंह धानक विधायक बनकर अपनी छाप छोड़ चुके हैं। खांडा खेड़ी गांव को अबकी बार अनुसूचित जाति की महिला के लिए आरक्षित किया गया था गांव में कुल 15 महिला प्रत्याशियों ने अपना भाग्य आजमाया था लेकिन उत्तर प्रदेश के सहारनपुर से गांव में आई संदीप की बहू सुमिता ने अपनी प्रतिद्वंदी प्रत्याशी को 2083 वोटों से हराकर एकतरफा जीत हासिल की। सुमिता काफी शिक्षित हैं।

उन्होंने सोशोलाजी और पालिटिकल साइंस में डबल एमए की है। उनका सपना है कि वह गांव को विकास की बुलंदियों तक लेकर जाए। वर्ष 2010 में जातीय हिंसा के कारण पूरे देश की सुर्खियों में आने वाला गांव मिर्चपुर में भी अबकी बार अनुसूचित जाति की महिला के लिए सरपंच का पद आरक्षित किया गया था।

इस गांव में 9 प्रत्याशी महिलाओं ने चुनाव लड़ा था। लेकिन रजनी देवी ने अपने प्रतिद्वंदी प्रत्याशी को 1628 वोटों से हराकर एकतरफा जीत हासिल की। पंजाब के लुधियाना की रहने वाली रजनी की शादी करीब छह साल पहले हिंदी रीति रिवाज के अनुसार सामान्य वर्ग के अशोक के साथ हुई थी। उन्होंने बताया कि गांव की मुख्य समस्या पानी की निकासी है। सबसे पहले इसका समाधान किया जाएगा।