कुंभ राशि वालों को शनि की साढ़ेसाती से कब मिलेगा छुटकारा? जानिए उपाय

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ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, कुंभ राशि के स्वामी ग्रह शनि देव हैं। कुंभ राशि वालों पर साल 2020 से शनि का साढ़ेसाती चल रही है। शनि की साढ़ेसाती से मुक्ति पाने के लिए कुंभ राशि वालों को अभी लंबा इंतजार करना पड़ेगा। कुंभ राशि पर अभी शनि की साढ़ेसाती का पहला चरण चल रहा है। जबकि शनि की साढ़ेसाती के तीन चरण होते हैं। जानिए कुंभ राशि वालों को शनि की साढ़ेसाती से कब मिलेगी मुक्ति।

शनि के राशि परिवर्तन का असर-
शनि 29 अप्रैल 2022 को कुंभ राशि में गोचर करेंगे। जिसके कारण इस राशि के जातकों को कष्ट और मानसिक तनाव का सामना करना पड़ेगा। शनिदेव के कुंभ राशि में प्रवेश करने के साथ ही शनि की साढ़ेसाती का दूसरा चरण शुरू हो जाएगा। इसी के साथ मकर राशि वालों पर इसका अंतिम चरण और मीन राशि वालों पर शनि की साढ़ेसाती का पहला चरण शुरू होगा। जबकि धनु राशि वालों को शनि के प्रकोप से मु्क्ति मिल जाएगी।

शनि की साढ़ेसाती से कुंभ राशि वालों को कब मिलेगी मुक्ति?
कुंभ राशि वालों को 3 जून 2027 में शनि की साढ़ेसाती से मुक्ति मिलेगी। इस दिन शनि का राशि परिवर्तन मेष राशि में हो जाएगा। हालांकि 20 अक्टूबर को शनि अपनी वक्री चाल में मीन राशि में गोचर करेंगे। शनि मीन राशि में 23 फरवरी 2028 तक रहेंगे। जिसके कारण कुंभ राशि वालों पर भी शनि की साढ़ेसाती का असर होगा। ऐसे में शनि की साढ़ेसाती दशा से कुंभ राशि वालों को 23 फरवरी 2028 में मुक्ति मिलेगी।

शनिदेव को प्रसन्न करने के उपाय-
शनि की साढ़ेसाती के दौरान व्यक्ति को शनिदेव के साथ हनुमान जी की पूजा-अर्चना करनी चाहिए। इस दौरान शिवलिंग की पूजा करने से भी शनि दोष से मुक्ति मिलती है। पीपल पर जल चढ़ाने से भी शनिदेव प्रसन्न होते हैं। शनिवार और अमावस्या के दिन तेल का दान करने से शनिदेव के बुरे प्रभाव से मुक्ति मिलने की मान्यता है। शनिदेव को प्रसन्न करने के लिए हर दिन शनि स्तोत्र का पाठ करना चाहिए। कहा जाता है कि शनिवार के जिन लोहे के बर्तन, काला कपड़ा, सरसों तेल, काली दाल, काले चने और काले तिल दान करने से भी शनिदेव प्रसन्न होते हैं।