बिहार में एक क्लिक पर मिलेगा जमीन का रिकॉर्ड, दाखिल-खारिज में नहीं चलेगी सीओ की मनमानी

Land record will be available in Bihar on one click, CO's arbitrariness will not work in filing-dismissal
Land record will be available in Bihar on one click, CO's arbitrariness will not work in filing-dismissal
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समस्तीपुर: बिहार में एक क्लिक पर मिलेगा जमीन का रिकॉर्ड, दाखिल-खारिज में नहीं चलेगी सीओ की मनमानीआलोक मेहता ने कहा कि पहले लोगों को नक्शा लेने के लिए लाइन में लगना पड़ता था. अब पोस्ट ऑफिस के माध्यम से सीधे आपके घर तक पहुंच रहा है. अब मुंबई में बैठे लोग भी अपने मोबाइल के माध्यम से बिहार की अपनी जमीन का नक्शा निकाल लेते हैं.

एक क्लिक पर मिलेगा जमीन का रिकॉर्ड
बिहार सरकार एक ऐसा एप लांच कर रही है, जो संपूर्ण भूमि का रिकॉर्ड रखेगा. एक क्लिक पर इसकी सारी जानकारी उपलब्ध हो सकेगी. ये बातें राजस्व एवं भूमि सुधार मंत्री आलोक मेहता ने गुरुवार को समस्तीपुर जाने के दौरान वैशाली जिला के गाजीपुर में मीडिया से कही. उन्होंने कहा कि पहले लोगों को नक्शा लेने के लिए लाइन में लगना पड़ता था. अब पोस्ट ऑफिस के माध्यम से सीधे आपके घर तक पहुंच रहा है. अब मुंबई में बैठे लोग भी अपने मोबाइल के माध्यम से बिहार की अपनी जमीन का नक्शा निकाल लेते हैं. उसी एप के माध्यम से जमीन मापी के लिए भी ऑनलाइन अप्लाई कर सकते हैं. इसकी समय सीमा निर्धारित की जायेगी.

दाखिल-खारिज में नहीं चलेगी सीओ की मनमानी
मंत्री ने कहा कि सभी पंचायतों में राजस्व कर्मचारी की प्रतिनियुक्ति कर दी गयी है. सभी कर्मचारियों को कंप्यूटर का प्रशिक्षण दिया जायेगा. दाखिल-खारिज में अंचलाधिकारी के स्तर पर बड़े पैमाने पर अनियमितता बरती जाती थी, जिसकी शिकायत मिलने पर लंबित मामलों के निष्पादन के बाद समय सीमा निर्धारित की जा रही है. जहां बड़े पैमाने पर दाखिल-खारिज को रिजेक्ट किया जा रहा है, वहां विशेष टीम से छापेमारी भी करायी जा रही है. दाखिल-खारिज रिजेक्ट करने के बाद अंचलाधिकारी अब उसे दोबारा दाखिल-खारिज नहीं कर पाएंगे. रिजेक्ट करने का कारण भी स्पष्ट रूप से लिखना पड़ेगा, आखिर क्यों रिजेक्ट किया गया है.

सम्राट चौधरी पर भी बोले मंत्री
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी को बनाये जाने पर उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में केशव प्रसाद मौर्य को भी चुनाव से पहले प्रदेश अध्यक्ष बना दिया गया था और चुनाव में उन्हें खूब घुमाया गया. चुनाव के बाद उन्हें झुनझुना थमा दिया गया. यह भाजपा की पुरानी आदत है.