थकी पत्नी जब सेक्स से कर दे इनकार… जब पतियों से पूछा गया ये सवाल, जानें क्या मिला जवाब

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नई दिल्ली: ऐसे वक्त में जब देश में बीवी से रेप के अपराधीकरण (Criminalisation Of Marital Rape) पर चर्चा जोरों पर है वहीं नेशनल फैमिली हेल्थ सर्वे की रिपोर्ट सामने आई है जिससे यह पता चलता है कि पति और पत्नी के बीच सेक्स को लेकर सहमति और असहमति का कितना ख्याल रखा गया है। नेशनल फैमिली हेल्थ सर्वे -5 जो कि (2019-21) के बीच किया गया इसमें पूछे गए सवाल के जवाब में महिलाएं (80%) और पुरुष (66%) ने सेक्स से इनकार (Refusing Sex) है यदि इन तीनों में से कोई एक या सभी कारण हैं। सेक्स से इनकार के कारण जो बताए गए हैं उसमें – पहला यदि उसे यौन संबंधित कोई रोग है, दूसरा किसी दूसरी महिला के साथ यौन संबंध (Sex With Other Women) बनाए हैं तीसरा क्योंकि वह थकी हुई है / मूड में नहीं है। कम से कम 8% महिलाएं और 10% पुरुष इस बात से सहमत नहीं हैं कि पत्नी इनमें से किसी भी कारण से सेक्स करने से मना कर सकती है।

पति के साथ सुरक्षित यौन संबंधों पर बातचीत, लैंगिक समानता जैसे मुद्दे पर बात की गई। यह सवाल 15-49 वर्ष के बीच की महिलाओं और पुरुषों से किया गया था। इसमें पांच में से कम से कम चार महिला और पुरुष प्रत्येक कारण से सहमत थे। वयस्क जो सहमत हैं कि महिलाएं तीनों कारणों से अपने पति को सेक्स से मना कर सकती हैं। इसमें एनएफएचएस -4 (2015-16) सर्वे से महिलाओं के मामले में 12 प्रतिशत (68% से) और पुरुषों के लिए तीन प्रतिशत (63%) से बढ़ोत्तरी दर्ज की गई है।

19% पुरुष इस बात से सहमत हैं कि एक पति को क्रोधित होने और एक महिला को फटकार लगाने का अधिकार है यदि वह अपने पति के साथ यौन संबंध बनाने से इनकार करती है। तो सर्वेक्षण से यह भी पता चलता है कि पांच में से चार से अधिक महिलाएं (82) %) अगर वे संभोग नहीं करना चाहती हैं तो अपने पति को ना कह सकती हैं।

वहीं एक और चौंकाने वाला आंकड़ा सामने आया कि 45% महिलाएं और 44% पुरुष मानते हैं कि इनमें से कोई एक कारण है तो पति की पिटाई को जायज बताया गया है।
-अगर से बिना बताए बाहर जाना
– घर या बच्चों की उपेक्षा करना
– पति के साथ बहस
– यौन संबंध बनाने से इंकार
– खाना ठीक से नहीं पकाना
– बेवफा होने का संदेह
– ससुराल वालों के प्रति अनादर

पत्नी की पिटाई को सही ठहराने वाली महिलाओं में जहां 52% से सात प्रतिशत की गिरावट आई है, वहीं पुरुषों के मामले में यह 42% से दो प्रतिशत अंक अधिक है।