जब शेखर सुमन की पत्नी को मंदिर में दिखा उनका मरा हुआ बेटा, बोले- ज्योतिषी ने की थी भविष्यवाणी

When Shekhar Suman's wife saw his dead son in the temple, she said - the astrologer had predicted
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शेखर सुमन अपने एक बेटे को खो चुके हैं। उसके बारे में बात करते हुए अक्सर उनकी आंखें नम हो जाती हैं। उनका परिवार उस बच्चे को लेकर काफी इमोशनल है। शेखर अपने दूसरे बेटे अध्ययन के साथ हीरामंडी में एक्टिंग करते दिखेंगे। एक इंटरव्यू के दौरान फिल्म की बातचीत के साथ उन्होंने कुछ इमोशनल पल भी साझा किए। शेखर ने बताया ने अपने दिवंगत बेटे से जुड़ी अजीब घटना साझा की। उन्होंने बताया कि बच्चे के निधन के बाद उनकी पत्नी उससे मिल चुकी हैं।

अध्ययन की तारीफ सुन रोए शेखर

शेखर सुमन संजय लीला भंसाली के शुक्रगुजार हैं। उन्होंने अध्ययन सुमन को हीरामंडी में उनके साथ काम करने का मौका दिया। सिद्धार्थ कनन से बातचीत में अध्ययन सुमन ने बताया कि जब संजय लीला भंसाली ने अध्ययन की तारीफ की तो वह रो पड़े। यह उनकी जिंदगी का दूसरा मौका था जब वह इतना रोए थे। इससे पहले अपना बेटा आयुष खोने पर रोए थे।

मायने रखती है भंसाली की तारीफ

शेखर बोले, जिस तरह से वह तारीफ कर रहे थे मुझे लगा कि यह लंबे वक्त से ड्यू था। यह एक ऐसे इंसान की तरफ से मिल रहा था जिसका वैलिडेशन मेरे लिए सब कुछ है। इसलिए मैं रो रहा था। अगर कोई साधारण डायरेक्टर होता तो मुझे लगता कि चलो अच्छा है। शेखर ने अपनी जिंदगी के दूसरे दर्द की बात भी की।

सिर पटककर रोए थे शेखर

शेखर बोले, अपने जीवन में सिर्फ दो बार मैं ऐसे रोया हूं। एक जब मैंने बड़े बेटे आयुष को खोया था। मैंने कलेजे का टुकड़ा खो दिया था जो मुझे बेहद प्यारा था। मैं जमीन पर अपना सिर पटककर रोया था। इसके बाद मैं जीना नहीं चाहता था, बेजान हो गया था। दुनिया एक मुखौटा थी जहां मैं घर चलाने की वजह से हंसता था।

ज्योतिषी ने कहा था दर्शन देगा बेटा

शेखर ने बताया कि बेटे के निधन के बाद वह कई ज्योतिषियों के यहां भी गए। वह बोले, आयुष नहीं रहा तो हमने बहुत से ज्योतिषियों से पूछा कि हमारे साथ ऐसा क्यों हुआ? उन्होंने कहा कि लोगों के साथ इससे भी बुरा हो जाता है। किसी ने कहा, एक दिन वह आपके सामने आएगा और दर्शन देगा। हमें उनकी बात पर यकीन हो गया।

मुड़ते ही गायब हुआ शख्स

शेखर बोले, मेरी पत्नी विश्वनाथ मंदिर गई थी। मैं चुनाव में बिजी थी। उसने मुझे फोन किया और रोने लगी। मैंने तुरंत पूछा, क्या तुम आयुष से मिली? वह बोली, ‘वह आया था और मुझसे आधे सेकंड के लिए मिला।’ शेखऱ ने बताया कि उनकी वाइफ मंदिर में किसी को 10 रुपये भीख में दे रही थीं और वह बोला, ‘इतने से मेरा क्या होगा?’ शेखर बोले, आयुष हॉस्पिटल में यह बात बहुत बोलता था जब हम दवाओं के चलते उसे थोड़ा सा खाना देते थे। जब उनकी पत्नी उस इंसान को देखने के लिए मुड़ी तो बेटा दिखाई दिया। वह उसे सारे पैसे देती उससे पहले ही वह गायब हो गया।