हिमाचल कैबिनेट बैठक मे इन बड़े फैसलों पर लग सकती है मुहर यहां देखे

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शिमला: हिमाचल प्रदेश कैबिनेट की बैठक बुधवार सात जुलाई को सीएम जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में होगी। बैठक सुबह 10:30 बजे राज्य अतिथि गृह पीटरहॉफ शिमला में होगी।बैठक में 100 फीसदी सीटिंग क्षमता के साथ बसें चलाने के अलावा शिक्षा से संबंधित व अन्य बड़े फैसलों पर मुहर लग सकती है।  हिमाचल में 100 फीसदी सीटिंग क्षमता के साथ बसें का प्रस्ताव परिवहन विभाग ने तैयार किया है। कैबिनेट की बैठक में इस प्रस्ताव पर मुहर लग सकती है। वर्तमान में प्रदेश और बाहरी राज्यों के लिए 50 फीसदी क्षमता के साथ बसें चलाई जा रही हैं। परिवहन निगम भी बसों में सवारियों की ऑक्यूपेंसी बढ़ाने की मांग कर रहा है।  प्रदेश में इस समय करीब 1500 बसें रूटों पर दौड़ाई जा रही हैं, जबकि बाहरी राज्यों के लिए 317 बसें चलाई जा रही हैं।

परिवहन निगम का मानना है कि अगर सरकार 100 फीसदी सीटिंग क्षमता बढ़ाने के आदेश जारी करती है तो प्रदेश और बाहरी राज्यों के रूटों में 3300 बसें चलाई जाएंगी। उधर, प्रदेश के सरकारी और निजी स्कूलों में अब तीसरी, पांचवीं और आठवीं कक्षा में भी विद्यार्थी फेल किए जाएंगे। परीक्षा परिणाम के आधार पर ही इन्हें अगली कक्षा में भेजा जाएगा। राष्ट्रीय शिक्षा नीति में हुए नए प्रावधान को लागू करने के लिए बुधवार को प्रस्तावित कैबिनेट बैठक में प्रस्ताव लाया जाएगा। तीनों कक्षाओं के विद्यार्थियों की परीक्षाएं लेने के लिए स्कूल शिक्षा बोर्ड या समग्र शिक्षा अभियान का राज्य परियोजना निदेशालय प्रश्नपत्र तैयार करेगा। उत्तर पुस्तिकाओं की जांच स्कूल और ब्लॉक स्तर पर की जाएगी। इसी शैक्षणिक सत्र से नई व्यवस्था को लागू करने की तैयारी है।

प्रदेश में कॉलेजों और कोचिंग संस्थानों को खोलने का बुधवार को कैबिनेट बैठक में फैसला होगा। 12वीं कक्षा का  परिणाम निकलने के बाद कॉलेजों में दाखिला शुरू होने हैं। ऐसे में 2 अगस्त से कॉलेज खोले जा सकते हैं। 15 जुलाई से स्कूलों में 10वीं-12वीं कक्षा के विद्यार्थियों को शिक्षकों से परामर्श लेने के लिए अभिभावकों के सहमति पत्र पर बुलाने का फैसला हो सकता है। बैठक 10:30 बजे राज्य अतिथि गृह पीटरहॉफ शिमला में होगी। कॉलेजों के फर्स्ट ईयर के विद्यार्थियों की परीक्षाएं भी ऑनलाइन करवाने पर सहमति बन सकती है। छठे वेतन आयोग की सिफारिशें लागू करने पर मंत्रणा हो सकती है। चार हजार शिक्षकों, पांच हजार मल्टी टास्क वर्करों की भर्ती एजेंडे में नहीं है।