राजस्थान में रीट परीक्षा को लेकर सरकार का बड़ा फैसला, रेस्मा लागू

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जयपुर। रीट परीक्षा से जुड़े कर्मचारी और संस्थान हड़ताल नहीं कर सकेंगे, सरकार ने हड़ताल, कार्य बहिष्कार पर रोक लगा दी है। रीट पर राजस्थान एसेंशियल सर्विसेज मेंटेनेंस एक्ट (RESMA) लगाकर अत्यावश्यक सेवा घोषित कर दिया है। मुख्यमंत्री की मंजूरी के बाद गृह विभाग ने 20 से 30 सितंबर तक रेस्मा लागू करने की अधिसूचना जारी कर दी है। इससे अब माध्यमिक शिक्षा बोर्ड और रीट से जुड़े संस्थानों में हड़ताल पर रोक लग जाएगी।

रीट परीक्षा पूरी होने तक रेस्मा लागू रहेगा। रेस्मा लागू होने के बाद रीट परीक्षा से जुड़े शिक्षा विभाग, माध्यमिक शिक्षा बोर्ड, रीट के सेंटर वाले निजी स्कूल के कर्मचारी हड़ताल नहीं कर सकेंगे। किसी भी तरह का कार्य बहिष्कार और हड़ताल गैर कानूनी मानी जाएगी। हड़ताल करने वालों को पुलिस बिना वारंट गिरफ्तार कर जेल भेज सकती है। रीट परीक्षा में करीब 25 लाख विद्यार्थी भाग ले रहे हैं, प्रदेश भर में सेंटर बनाए गए हैं। परीक्षा के बीच हड़ताल रोकने के लिए सरकार ने इसे रेस्मा में लेने का फैसला किया है।

राजस्थान एसेंशियल सर्विसेज मेंटेनेंस एक्ट, 1970 के प्रावधानों के अनुसार सरकार लोगों से जुड़ी सेवाओं को अत्यावश्यक सेवा घोषित करती है। सरकार किसी भी सेवा पर एक बार में 6 माह तक रेस्मा लागू कर सकती है। छह माह बाद चाहे तो रेस्मा की अवधि को बढ़ाया जा सकता है। अत्यावश्यक सेवा घोषित होने पर उस पर रेस्मा के प्रावधान लागू हो जाते हैं।

रेस्मा लागू होने के बाद हड़ताल करने वालों को पैसा देना, भोजन करवाना सहित किसी तरह की मदद करने वालों को एक साल तक जेल और एक हजार रुपए जुर्माना हो सकता है।