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चंडीगढ़: हरियाणा में सरकारी नौकरियों में पदोन्नति में आरक्षण की तैयारी चल रही है। हरियाणा सरकार ने रेशनलाइजेशन आयोग को विभागों में ग्रुप A, B, C और D के पदों पर पदोन्नति में आरक्षण लागू करने और कैडर-वार कमी का आकलन करने को कहा है। साथ ही एक माह के भीतर इसकी जांच करने और अपनी सिफारिश देने के लिए आयोग को कहा गया है। CM मनोहर लाल खट्टर ने भी इस बात पर जोर दिया है कि एक माह के भीतर सरकार को सिफारिश प्रस्तुत की जानी चाहिए।
विभागों को करनी होगी सहायता
हरियाणा सरकार के निर्देश के बाद मुख्य सचिव संजीव कौशल ने सामाजिक न्याय, अधिकारिता, अनुसूचित जाति एवं पिछड़ा वर्ग कल्याण और अंत्योदय (सेवा) विभाग के प्रशासनिक सचिव को सेक्रेटेरियल सहायता और सेवा विभाग के कर्मचारियों की प्रतिनियुक्ति सहित आयोग को सभी प्रकार की सहायता प्रदान करने के निर्देश दिए हैं।
SC के फैसले के अनुसार होगा फैसला
हरियाणा सरकार आयोग की रिपोर्ट प्राप्त होने और इसकी जांच के बाद कैडर-वार कमी का आकलन करने तथा अनुसूचित जाति के कर्मचारियों को पदोन्नति में आरक्षण के लिए, सर्वोच्च न्यायालय के फैसले के अनुसार, ग्रुप A, B, C एवं D पदों में पदोन्नति में आरक्षण लागू होने की तिथि पर विचार करेगी।
सरकार ने बनाया नया आयोग
हरियाणा सरकार ने राजन गुप्त की अध्यक्षता में रेशनलाइजेशन आयोग का गठन किया है। इसको लेकर सरकार की ओर से नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया है। आयोग के नए अध्यक्ष की नियुक्ति 6 महीने की अवधि के लिए की गई है। हालांकि, उनका कार्यकाल राज्य सरकार के विवेक पर 3 महीने के लिए और अधिक अवधि के लिए बढ़ाया जा सकता है। आयोग के अध्यक्ष का पद हरियाणा सरकार के मुख्य सचिव के समकक्ष होगा।
आयोग की ये शक्तियां
आयोग अपनी स्वयं की प्रक्रिया तैयार करेगा। आयोग अपने कामकाज का रिकॉर्ड रखेगा। आयोग के पास किसी भी विभाग, बोर्ड या निगम से किसी भी प्रकार की जानकारी मांगने की पूर्ण शक्तियां होंगी। आयोग स्वीकृत पदों की संख्या, भरे हुए, रिक्त, और ऐसे पदों के विरुद्ध नियोजित कर्मचारियों के प्रकार, पिछले वर्षों के दौरान किए गए बजटीय प्रावधान और वास्तविक व्यय सहित विभाग का बजट, विभाग के कर्तव्यों और उत्तरदायित्वों की प्रकृति, विभाग द्वारा संभाले जा रहे विषयों से संबंधित कानून, नियम और निर्देश तथा आयोग द्वारा अपने विचार-विमर्श के लिए प्रासंगिक मानी गई कोई अन्य जानकारी शामिल है।
जानकारी नहीं देने पर होगी कार्रवाई
कोई अधिकारी-कर्मचारी आयोग द्वारा मांगी गई जानकारी प्रस्तुत करने में विफल रहता है तो वह हरियाणा सिविल सेवा दंड और अपील नियम, 2016 या उसके लिए लागू किसी भी संबंधित नियम के तहत सरकार के संबंधित अधिकारियों द्वारा अनुशासनहीनता के लिए कार्यवाही करने के लिए उत्तरदायी होगा।