दिल्ली सरकार ने बढ़ाया मजदूरों का न्यूनतम वेतन, जानिए क्या है नई सैलरी

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नई दिल्ली: कोरोना महामारी के दौरान संकट से जूझ रहे हजारों मजदूरों और जरूरतमंद तबके को दिल्ली की केजरीवाल सरकार ने भारी राहत दी है. सरकार ने दिल्ली के अकुशल, अर्ध कुशल और अन्य श्रमिकों का महंगाई भत्ता बढ़ाने का आदेश जारी कर दिया है. यह आदेश 1 अप्रैल से लागू माना जाएगा.

लिपिक-सुपरवाइजरों को भी मिलेगा लाभ
दिल्ली के डिप्टी सीएम और श्रम मंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि सभी अकुशल, अर्ध कुशल और अन्य श्रमिकों का महंगाई भत्ता बढ़ाने का आदेश जारी किया गया है. साथ ही उपमुख्यमंत्री ने सभी को बढ़ी हुई दर के साथ भुगतान सुनिश्चित करने का भी निर्देश दिया है. उन्होंने कहा कि इसका लाभ लिपिक और सुपरवाइजर वर्ग के कर्मचारियों को भी मिलेगा.

डिप्टी सीएम ने कहा कि गरीब और मजदूर वर्ग के हितों को ध्यान में रखते हुए यह बड़ा कदम उठाया गया है. असंगठित क्षेत्र के ऐसे श्रमिकों के महंगाई भत्ते पर रोक नहीं लगाई जा सकती है, जिन्हें सामान्यत: केवल न्यूनतम मजदूरी मिलती है. ऐसे मजदूरों को लाभ देने के लिए दिल्ली सरकार ने महंगाई भत्ते जोड़कर नए न्यूनतम वेतन की घोषणा की है.

अब ये हुआ नया न्यूनतम वेतन
उन्होंने बताया कि इस घोषणा के बाद अकुशल मजदूरों के मासिक वेतन को 15492 रुपये से बढ़ाकर 15908 रुपये, अर्ध कुशल श्रमिकों के मासिक वेतन को 17069 रुपये बढ़ाकर 17537 रुपये और कुशल श्रमिकों के मासिक वेतन को 18,797 रुपये से बढ़ाकर 19291 रुपये कर दिया गया है. इनके अलावा सुपरवाइजर और लिपिक वर्ग के कर्मचारियों की न्यूनतम मजदूरी की दर भी बढ़ाई गई है.

मजदूरों को मिलेगी महंगाई से राहत
ऐसे गैर मैट्रिक कर्मचारियों का मासिक वेतन 17069 से बढ़ाकर 17537 रुपये, मैट्रिक लेकिन गैर स्नातक कर्मचारियों का मासिक वेतन 18797 से बढ़ाकर 19291 रुपये और ग्रेजुएट व उससे अधिक शैक्षणिक योग्यता वाले मजदूरों का मासिक वेतन 20430 से बढ़ाकर 20976 रुपये कर दिया गया है. डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) ने दावा किया कि दिल्ली में मजदूरों को मिलने वाला न्यूनतम वेतन देश के किसी भी अन्य राज्य की तुलना में सबसे अधिक है. इस घोषणा से कोरोना और महंगाई की दोहरी मार झेल रहे श्रमिक वर्ग को काफी राहत मिलेगी.