3-4 अप्रैल को कुछ बड़ा करने वाला है भारत, चीन ने भेज दिया जासूसी जहाज

India is going to do something big on 3-4 April, China sent spy ship
India is going to do something big on 3-4 April, China sent spy ship
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नई दिल्ली: अगले महीने के पहले सप्ताह में भारत कुछ बड़ा करने जा रहा है। इसी के खौफ से चीन जासूसी के लिए हर पैंतरे चल रहा है। चीन ने हिंद महासागर क्षेत्र (आईओआर) में अपने जासूसी जहाजों की संख्या बढ़ा दी है। इसका ताजा जासूसी विमान युआन वांग 03 है। इस जहाज का कनेक्शन चीनी सरकार से है। इस सैटेलाइट और मिसाइल ट्रैकिंग जहाज ने इंडोनेशिया में सुंडा जलडमरूमध्य के माध्यम से हिंद महासागर क्षेत्र में प्रवेश किया है।

इस चीनी जहाज ने हिंद महासागर क्षेत्र में ऐसे समय में प्रवेश किया है जब भारत 3 या 4 अप्रैल को कुछ बड़ा करने वाला है। ऐसा अनुमान है कि भारत इस दिन एक और बैलिस्टिक मिसाइल का परीक्षण करने की योजना बना रहा है। भारत ने एयरमेन (एनओटीएएम) को एक नोटिस जारी किया है, जिसमें कहा गया है कि इसे ओडिशा के तट पर एपीजे अब्दुल कलाम द्वीप से शुरू होकर बंगाल की खाड़ी के ऊपर दक्षिणी दिशा में 1,600 किमी तक हवाई क्षेत्र की आवश्यकता होगी।

चीन का चौथा जासूसी जहाज

युआन वांग 03 हिंद महासागर क्षेत्र में चीन का चौथा जासूसी जहाज है। इससे पहले चीन ने इस क्षेत्र में जियांग यांग होंग 01 और जियांग यांग होंग 03 को उतारा हुआ है। ये दोनों सर्वे और रिसर्च जहाज हैं। इसके अलावा, दा यांग हो नाम का एक रिसोर्स सर्वे जहाज भी इस क्षेत्र में तैनात है। ये चीनी जहाज समुद्र तल को पढ़ने और संसाधनों व समुद्र के अंदर होने वाली गतिविधियों पर नजर रखने में सक्षम बताए जा रहे हैं। युआन वांग 03 एक अलग श्रेणी का जहाज है। यह मिसाइलों को ट्रैक कर सकता है।

इससे पहले 11 मार्च को, भारत ने अपनी परमाणु-युक्त अग्नि-V मिसाइल के एक नए वर्जन का सफल टेस्ट किया था। ये मिसाइल 5,000 किमी से अधिक दूरी पर कई लक्ष्यों पर हथियार दागने में सक्षम है। बताया जा रहा है कि भारत ने इस दौरान पनडुब्बी से छोड़ी जाने वाली बैलिस्टिक मिसाइल K4 का परीक्षण रोक दिया था। इसकी वजह चीनी जहाज बताए जा रहे हैं जो अंतरराष्ट्रीय जल क्षेत्र में घूम रहे हैं। भारत एक के बाद एक कई बड़े मिसाइल टेस्ट को अंजाम दे रहा है। चीन इससे घबराया हुआ है। यही वजह है कि चीन भारत के हर कदम की निगरानी करना चाहता है।

पहले भी जासूसी जहाज भेज चुका है चीन

हालांकि भारतीय नौसेना हिंद महासागर क्षेत्र में सभी चीनी जहाजों की गतिविधियों पर बारीकी से नजर रख रही है। यह पहली बार नहीं है जब भारत द्वारा नियोजित मिसाइल परीक्षण से ठीक पहले किसी चीनी जहाज को हिंद महासागर क्षेत्र में प्रवेश करते देखा गया। नवंबर 2022 में युआन वांग 06 आया था क्योंकि दिसंबर 2022 में, भारत ने 5,400 किमी का NOTAM जारी किया था।

भारत ने अपने ‘मिशन दिव्यास्त्र’ के तहत ‘मल्टीपल इंडिपेंडेंट टारगेटेबल री-एंट्री व्हीकल’ (एमआईआरवी) टेक्नोलॉजी के साथ स्वदेश विकसित अग्नि-5 मिसाइल का पहला सफल फ्लाइट टेस्ट किया था। भारत ऐसी क्षमता रखने वाले चुनिंदा देशों के समूह में शामिल हो गया। ओडिशा के एपीजे अब्दुल कलाम द्वीप से परीक्षण की गई मिसाइल निर्धारित मापदंडों पर खरी उतरी है।

मारक क्षमता 5,000 किलोमीटर

अग्नि-5 की मारक क्षमता 5,000 किलोमीटर है और इसे देश की दीर्घकालिक सुरक्षा जरूरतों को देखते हुए विकसित किया गया है। यह मिसाइल चीन के उत्तरी हिस्से के साथ-साथ यूरोप के कुछ क्षेत्रों सहित लगभग पूरे एशिया को अपनी मारक सीमा के तहत ला सकती है। अग्नि 1 से 4 मिसाइलों की रेंज 700 किमी से 3,500 किमी तक है और पहले ही तैनात की जा चुकी हैं। भारत पृथ्वी की वायुमंडलीय सीमाओं के भीतर और बाहर दुश्मन देशों की बैलिस्टिक मिसाइल को भेदने की क्षमताएं विकसित कर रहा है।