हिमाचल में बारिश ने मचाई भयानक तबाही, 14 की मौत, मचा हाहाकार

इस खबर को शेयर करें

मनाली: इस बार की मानसून ने हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश ने मचाई तबाही है. दो दिनों में हुई बारिश के बाद बादल फटने से बाढ़ व भूस्खलन से 14 लोगों की मौत हो चुकी है. कुल्लू के ब्रमहगंगा में आई बाढ़ में 4 लोग लापता और लाहौल के टोजिंग नाला में बहे 10 लोगों की तलाश लगातार जारी है, जिनमें से सात लोगों के शव निकाले जा चुके हैं.

तीन दिनों से लाहौल के टोजिंग नाला में ज़िला प्रशासन व NDRF का सर्च ऑपरेशन भी जारी है. प्रदेश में 387 सड़कें बंद और नदी नाले उफान पर हैं. अगले 36 घंटो में भी भारी बारिश की चेतावनी दी गई है. शिमला, मंडी, चंबा, कुल्लू, सिरमौर, लाहौल में फ्लैश फ्लड, लैंड्स्लायड ने भारी नुकसान किया है. हिमाचल में पिछले 24 घंटे के दौरान 14 लोगों की मौत हुई है.

जबकि, कुछ लोग अभी भी लापता है. भारी बारिश ने सबसे नुकसान लाहौल के उदयपुर में पहुंचाया है, जहां अचानक बाढ़ ने दर्जनों लोगों को अपनी चपेट में ले लिया, जिनमें से 10 लोगों की मौत की पुष्टि हो चुकी है, जबकि 4 लोग कुल्लू में बह गए है. बीते 24 घंटे के दौरान हिमाचल में 10 घर पूरी तरह ढह गए है और 31 घरों को नुकसान पहुंचा है.

हिमाचल में ताजा बारिश से लैंड स्लाइड हुए, पेड़ गिरे, घर ढहे, दर्जनों गाड़ियां बह गई है. अगले दो दिनों तक हिमाचल में ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है जबकि उसके बाद भी येलो अलर्ट की चेतावनी मौसम विभाग ने जारी की है. हिमाचल में लगातार मानसून शुक्रिया होने के चलते बीते कल भी कांगड़ा जिला में 101 सेंटीमीटर बारिश दर्ज की गई.

इसी के साथ सिरमौर, सोलन, शिमला और बिलसपुर में भी भारी बारिश दर्ज की गई है, तो वहीं अगले 48 घंटे के लिए इसी तरह से भारी से भी भारी बारिश होने की संभावना जताई जा रही है. मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक सुरेंद्र पाल ने कहा कि 4 जिलों के लिए अगले 48 घंटों में भारी से भारी बारिश होने की संभावना है.

उन्होंने आगे कहा कि बादल फटने के पीछे कम समय मे ज्यादा बारिश होना है जिसके कई कारण है. पर्यावरण में बदलाव के साथ पहाड़ो में बेतरतीब और अंधाधुंध निर्माण होने की वजह से बादल फटने जैसी घटनाएं होती हैं. सुरेंद्र पाल ने कहा कि प्रदेश में लगातार बारिश होने की वजह से बाढ़, भूस्खलन व नदी नालों में जल स्तर बढ़ने की आशंका बनी रहती है.